2023 तक एक ट्रिलियन अमेरिकी डॉलर पहुंच जाएगा भारत के डिजिटल पेमेंट का बाजार
भारत के डिजिटल पेमेंट का बाजार 2023 तक एक ट्रिलियन अमेरिकी डॉलर तक पहुंच जाएगा। डिजिटल स्पेस में बड़े उद्यमियों के लिए व्यवसाय के ज्यादा अवसर उपलब्ध होने की वजह से यह उम्मीद जताई गई है। मोबाइल के जरिए 2017-18 में हुआ 10 बिलियन अमेरिकी डॉलर का भुगतान बढ़कर 2023 तक 190 बिलियन डॉलर हो जाएगा।
यह अनुमान क्रेडिट सुइस के अध्ययन पर आधारित हैं। इसका उल्लेख 'डिजिटल भुगतान: रुझान, मुद्दे और अवसर' नामक एक पुस्तिका में किया गया है। इस पुस्तिका का विमोचन मंगलवार को नीति आयोग के मुख्य सलाहकार और ईएसीपीएम के सदस्य सचिव रतन पी वाटल ने फिक्की और नीति आयोग द्वारा आयोजित सम्मेलन में किया।
इस पुस्तिका में बताया गया है किन कारणों से डिजिटल पेमेंट में बढ़ोतरी दर्ज की गई। इसके अनुसार नोटबंदी के बाद में देश में डिजिटल पेमेंट की गति तेज हुई। यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस (यूपीआई) लागू होने से भी तेज वृद्धि हुई। वाटल कमेटी की रिपोर्ट के अनुसार एक नया नियामक व्यवस्था लाने के लिए उठाए गए कदम भी लाभदायक साबित हुए। भारतीय रिजर्व बैंक ने भी डिजिटल भुगतान के नए युग में आगे बढ़ने के लिए चार महत्वपूर्ण पहल किए।
पुस्तिका के लोकार्पण के मौके पर फिक्की के महासचिव दिलीप चेनॉय, आदित्या बिरला आइडिया पेमेंट बैंक लि. के एमडी और सीइओ सुधाकर रामसुब्रमण्यम ने भी विचार व्यक्त किए।