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07 July 2015

स्वर्ण बांड योजना से 15,000 करोड़ जुटाएगी सरकार

पीटीआई

वित्त मंत्री अरुण जेटली ने अपने बजट भाषण में इस योजना की घोषणा की थी। एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि इस योजना के लिए ब्याज दर सरकारी प्रतिभूतियों पर दरों के समान होगी।

अधिकारी ने कहा, ‘हमारी इस बारे में रिजर्व बैंक से बातचीत चल रही है। न्यूनतम दर लगभग अन्य सरकारी प्रतिभूतियों के समान होगी। वित्त मंत्रालय ने पिछले महीने सॉवरेन गोल्ड बांड योजना पर परिचर्चा पत्र निकाला था। इसमें सुझाव दिया गया था कि योजना को सरकार के ऋण जुटाने के कार्यक्रम से संबद्ध किया जाए।’

अधिकारी ने कहा, ‘हम 15,000 करोड़ रुपये जुटाने का लक्ष्य लेकर चल रहे हैं। खुदरा निवेशकों को इन्हें किस्तों में जारी किया जाएगा। प्रस्तावित योजना का मकसद हर साल खरीदी जाने वाली अनुमानत: 300 टन सोने की छड़ों को गोल्ड बांड में बदलना है जो डीमैट रूप में होंगे। इसका विपणन डाकघरों के जरिये किया जाएगा। ब्रोकरों को इसके लिए कमीशन दिया जाएगा।

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अधिकारी ने कहा कि इस योजना की अंतिम रूपरेखा और अवधि सार्वजनिक ऋण प्रबंधन एजेंसी (पीडीएमए) यानी रिजर्व बैंक द्वारा तय की जाएगी। वित्त मंत्रालय को इसके लिए कैबिनेट की मंजूरी मिलेगी। यदि यह योजना सफल रहती है, तो अगले वित्त वर्ष से इसे सरकार के ऋण जुटाने के कार्यक्रम से जोड़ा जाएगा। सरकार की चालू वित्त वर्ष में 6 लाख करोड़ रुपये का कर्ज जुटाने की योजना है। इनमें से 3.6 लाख करोड़ रुपये पहली छमाही में जुटाए जाएंगे। सरकार सितंबर तक दूसरी छमाही का ऋण कैलेंडर तैयार करेगी।

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TAGS: गोल्ड बॉण्ड, प्रतिभूति, कैबिनेट नोट, Interest Rate, Securities, Soverin Gold Bonds
OUTLOOK 07 July, 2015
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