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12 September 2019

महाराष्ट्र-उत्तराखंड-कर्नाटक की भाजपा सरकारें भी नए मोटर वाहन कानून के खिलाफ, घटाएंगी जुर्माना

File Photo

नए मोटर व्हीकल कानून के तहत भारी-भरकम जुर्माने को लेकर कई राज्य इसके खिलाफ हो गए हैं। 1 सितंबर से लागू हुए कानून के तहत हजारों रुपयों के चालान कटे, लेकिन कई राज्य सरकारें इससे सतर्क हो गई हैं। कई राज्य सरकारों ने कानून में संशोधन कर जुर्माना राशि को ही घटा दिया। खास बात ये है कि कानून में संशोधन कर जुर्माना राशि घटाने वालों की लिस्ट में भारतीय जनता पार्टी के राज्य ही टॉप पर हैं।

नए मोटर कानून में संशोधन कर जुर्माना राशि घटाने वाले राज्यों में पहला प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का गृह राज्य गुजरात है, जहां की भाजपा सरकार ने केंद्रीय कानून के तहत तय की गई जुर्माने की राशि में 90 फीसदी तक कटौती कर दी है। गुजरात के बाद भाजपा शासित राज्य उत्तराखंड ने भी जुर्माने की रकम घटा दी है। वहीं, कर्नाटक के मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा ने भी राज्य के अधिकारियों को गुजरात की तर्ज पर जुर्माना घटाने का आदेश दिया है।

महाराष्ट्र परिवहन मंत्री ने गडकरी को लिखा लेटर

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इस बीच, महाराष्ट्र के परिवहन मंत्री दिवाकर राओते ने केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी को पत्र लिखकर कहा- ‘नए मोटर व्हीकल एक्ट में जुर्माने की राशि हद से ज्यादा बढ़ा दी गई है। केंद्र सरकार से अनुरोध है कि इस पर दोबारा विचार करे और जरूरी संशोधन करके जुर्माने की राशि को कम करे।’ बता दें कि इसके पहले पश्चिम बंगाल, मध्य प्रदेश, राजस्थान और पंजाब सरकार ने नए कानून को अपने राज्य में नहीं करने का ऐलान कर चुके हैं। इसके अलावा उड़ीसा ने तीन महीने तक जुर्माने के प्रावधान में छूट दे रखी है।

मुख्यमंत्री चाहें तो अपने राज्यों में जुर्माना घटा सकते हैं- गडकरी

विपक्ष के साथ ही भाजपा शासित राज्यों में भी विरोध होता देख गडकरी ने बुधवार को कहा कि लोगों की जिंदगी बचाना उनकी अकेले की जिम्मेदारी नहीं है। मुख्यमंत्री चाहें तो अपने राज्यों में जुर्माना घटा सकते हैं। लेकिन, उन्हें इसके नतीजों की भी जिम्मेदारी लेनी होगी।

कांग्रेस शासित राज्यों ने नए मोटर व्हीकल कानून को लागू करने से किया इनकार

कांग्रेस शासित राज्यों राजस्थान, मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ और पंजाब ने 1 सितंबर से लागू हुए नए कानून को अपने यहां लागू करने से इनकार कर दिया था।

जुर्माना लोगों की जान से ज्यादा अहम नहीं: गडकरी

नितिन गडकरी ने नए कानून को लेकर पहले कहा था कि भारी जुर्माने का मकसद सिर्फ लोगों की जान बचाना है, आमदनी बढ़ाना नहीं। क्या सड़कों पर होने वाली डेढ़ लाख मौतों की चिंता नहीं करनी चाहिए? जुर्माना लोगों की जान से ज्यादा अहम नहीं है। सरकार ने सबसे सलाह और संसद में चर्चा के बाद इसे लागू किया है। हादसे कम करना और लोगों की जान बचाने की जिम्मेदारी राज्य और केंद्र सरकार दोनों की है।

नियमों में सख्ती के विरोध में गडकरी के घर के सामने यूथ कांग्रेस का प्रदर्शन

ट्रैफिक नियमों की सख्ती के विरोध में बुधवार को दिल्ली यूथ कांग्रेस ने केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी के घर के आगे प्रदर्शन किया। कांग्रेस ने कहा कि गरीब आदमी अगर 25 हजार रुपये का चालान कटवाएगा तो घर कैसे चलाएगा। कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने कहा कि नियमों में बदलाव होने तक उनका विरोध जारी रहेगा। प्रदर्शनकारियों ने विरोध स्वरूप पुराने वाहन गडकरी को सौंपने की भी बात कही।

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TAGS: After Gujarat, Uttarakhand, Karnataka, Reduces, Fine, 50%, Under Motor Vehicle Act
OUTLOOK 12 September, 2019
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