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14 October 2019

अयोध्या मामले में सुन्नी वक्फ बोर्ड का आरोप, दूसरे पक्ष से नहीं सिर्फ हमसे किए जा रहे सवाल

File Photo

सुप्रीम कोर्ट में रामजन्म भूमि-बाबरी मस्जिद जमीन विवाद की सुनवाई के दौरान मुस्लिम पक्षकारों ने आरोप लगाया कि संविधान पीठ इस मामले में हिन्दू पक्ष से नहीं, बल्कि सिर्फ उससे ही सवाल कर रही है। चीफ जस्टिस रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पांच सदस्यीय संविधान पीठ के सामने 38वें दिन की सुनवाई शुरू होने पर मुस्लिम पक्षकारों के वकील राजीव धवन ने यह आरोप लगाया। संविधान पीठ के अन्य सदस्यों में जस्टिस एस ए बोबडे, जस्टिस धनंजय वाई चन्द्रचूड़, जस्टिस अशोक भूषण और जस्टिस एस अब्दुल नजीर शामिल हैं।

मुस्लिम पक्ष के वकील का आरोप

धवन ने कहा, 'माननीय न्यायाधीश ने दूसरे पक्ष से सवाल नहीं पूछे। सारे सवाल सिर्फ हमसे ही किए गए हैं। निश्चित ही हम उनका जवाब देंगे।' धवन के इस कथन का राम लला का प्रतिनिधित्व कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता सी एस वैद्यनाथन ने जोरदार विरोध किया और कहा, 'यह पूरी तरह से अनावश्यक है।' धवन ने यह टिप्पणी उस वक्त की जब संविधान पीठ ने कहा कि विवादित स्थल पर लोहे की ग्रिल लगाने का मकसद बाहरी बरामद से भीतरी बरामदे को अलग करना था।

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धवन ने माना- हिदुओं को है पूजा-अर्चना का अधिकार

न्यायालय ने कहा कि लोहे का ग्रिल लगाने का मकसद हिन्दुओं और मुसलमानों को अलग-अलग करना था और यह तथ्य सराहनीय है कि हिन्दू बाहरी बरामदे में पूजा अर्चना करते थे, जहां 'राम चबूतरा', 'सीता रसोई' 'भण्डार गृह' थे। शीर्ष अदालत ने धवन के इस कथन का भी संज्ञान लिया कि हिन्दुओं को सिर्फ अंदर प्रवेश करने और स्थल पर पूजा अर्चना करने का 'निर्देशात्मक अधिकार' था और इसका मतलब यह नहीं है कि विवादित संपत्ति पर उनका मालिकाना हक था।

धवन के कबूलनामे पर पीठ का महत्वपूर्ण सवाल

पीठ ने सवाल किया कि जैसा कि आपने कहा कि उनके पास प्रवेश और पूजा-अर्चना का अधिकार था, क्या यह आपके मालिकाना अधिकार को कमतर नहीं करता? पीठ ने यह भी कहा कि संपत्ति पर पूर्ण स्वामित्व के मामले में क्या किसी तीसरे पक्ष को प्रवेश और पूजा-अर्चना का अधिकार दिया जा सकता है?

14 अपीलों पर हो रही सुनवाई

संविधान पीठ ने दशहरा अवकाश के बाद सोमवार को 38वें दिन इस प्रकरण पर सुनवाई शुरू की, जो 17 अक्टूबर तक जारी रहेगी। संविधान पीठ अयोध्या में 2.77 एकड़ विवादित भूमि तीन पक्षकारों- सुन्नी वक्फ बोर्ड, निर्मोही अखाड़ा और राम लला- के बीच बराबर-बराबर बांटने का आदेश देने संबंधी इलाहाबाद हाई कोर्ट के सितंबर 2010 के फैसले के खिलाफ दायर 14 अपीलों पर सुनवाई कर रही है।

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TAGS: Ayodhya Case, Hindu Side, Muslim Parties
OUTLOOK 14 October, 2019
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