दिवाली पर दिल्ली की वायु गुणवत्ता और खराब, 38 निगरानी स्टेशन में से 34 ‘रेड ज़ोन’ में
दिवाली के दिन सोमवार को दिल्ली की वायु गुणवत्ता खराब हो गई और 38 निगरानी स्टेशन में से 34 पर प्रदूषण का स्तर ‘रेड जोन’ में दर्ज किया गया, जो ‘बहुत खराब’ से ‘गंभीर’ वायु गुणवता दर्शाता है।
आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, शाम चार बजे दिल्ली का 24 घंटे का औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 345 था जो ‘बहुत खराब’ श्रेणी में आता है, जबकि रविवार को यह 326 दर्ज किया गया था।
बता दें कि रेड जोन का मतलब ‘बहुत खराब’ से ‘गंभीर’ एयर क्वॉलिटी।
सोमवार-मंगलवार के बीच दिल्ली में धुंध की मोटी चादर दिखी और औसत एक्यूआई 531 दर्ज किया गया है। यह राष्ट्रीय औसत से 1.8 गुना ज्यादा है।
मौसम विभाग का कहना है कि दीपावाली की शाम हवा न चलने के कारण, आसमान में धुंध बनी रही। मंगलवार की सुबह दिल्ली के कई इलाकों में आंशिक रूप से बादल छाए रहने की संभावना है।
केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के ‘समीर’ ऐप के अनुसार, चार निगरानी स्टेशन ने पहले से ही वायु गुणवत्ता को ‘गंभीर’ श्रेणी में बताया, जिसमें एक्यूआई का स्तर 400 से ऊपर था। इसमें द्वारका में एक्यूआई 417, अशोक विहार में 404, वजीरपुर में 423 और आनंद विहार में 404 में दर्ज किया गया।
दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण के बीच ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान यानी ग्रैप-2 लागू कर दिया गया है। दिवाली से पहले ही दिल्ली की हवा जहरीली हो गई थी। ऐसे में डीजल जनरेटर पर रोक लगाई गई. प्राइवेट गाड़ियों के इस्तेमाल को कम करने के लिए पार्किंग फीस बढ़ाई गई। सीएनजी-इलेक्ट्रिक बसों और मेट्रो की सर्विस बढ़ाई गई। नैचुरल गैस, बायो गैस, एलपीजी से चलने वाले जेनरेटर चलाने पर अनुमति दी गई।
दिल्ली में करीब 30 निगरानी स्टेशन ने एक्यूआई को ‘बहुत खराब’ श्रेणी में बताया जिसमें इसका स्तर 300 से ऊपर था। आंकड़ों के अनुसार, दोपहर में 38 निगरानी स्टेशन में से 31 पर वायु गुणवत्ता ‘बहुत खराब’ श्रेणी में दर्ज की गई, जबकि तीन स्टेशन में यह ‘गंभीर’ श्रेणी में थी।
बता दें कि दिल्ली में मंगलवार और बुधवार को वायु गुणवत्ता के ‘गंभीर’ श्रेणी में पहुंच जाने की आशंका है। शून्य से 50 के बीच एक्यूआई ‘अच्छा’, 51 से 100 के बीच ‘संतोषजनक’, 101 से 200 के बीच ‘मध्यम’, 201 से 300 के बीच ‘खराब’, 301 से 400 के बीच ‘बहुत खराब’ और 401 से 500 के बीच ‘गंभीर’ माना जाता है।