पवार ने सड़क पर बढ़ते अपराधों के लिए की पुणे पुलिस की आलोचना; मकोका और सार्वजनिक परेड को निवारक बताया उपाय
महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजीत पवार ने गुरुवार को वाहनों में तोड़फोड़ समेत सड़क पर बढ़ते अपराधों के लिए पुणे पुलिस की आलोचना की और कहा कि ऐसे असामाजिक तत्वों पर मकोका के तहत आरोप लगाए जाने चाहिए और सार्वजनिक रूप से परेड करानी चाहिए।
नए पिंपरी चिंचवाड़ पुलिस आयुक्तालय परिसर के शिलान्यास समारोह में बोलते हुए पवार ने यह भी कहा कि अगर पुणे पुलिस आयुक्त समारोह में मौजूद होते तो वे उन्हें खरी-खोटी सुनाते।
पवार ने कहा, "क्या आपकी पुलिसिंग में हमारा कोई हस्तक्षेप है? कल बिबवेवाड़ी में 25 वाहनों में तोड़फोड़ की गई। आज येरवडा में 15 वाहनों को क्षतिग्रस्त किया गया। ये घटनाएं क्यों हो रही हैं? असामाजिक तत्व कोयता (लंबे ब्लेड वाले चाकू) लेकर घूम रहे हैं। मकोका के आरोप लगाएं और कानून की ताकत के बारे में कड़ा संदेश देने के लिए सार्वजनिक रूप से परेड करें।"
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार पुलिस को नए भवन और वाहन समेत सभी आवश्यक संसाधन उपलब्ध करा रही है। उन्होंने पिंपरी चिंचवाड़ पुलिस से कहा कि वह सुनिश्चित करे कि बिबवेवाड़ी और येरवडा जैसी घटनाएं उसके अधिकार क्षेत्र में न हों। पुरस्कार वितरण समारोह के दौरान कुछ लोगों द्वारा सीटी बजाने पर पवार ने भीड़ को फटकार लगाई। उन्होंने पीसीएमसी क्षेत्र में विकास कार्यों को उजागर करते समय अपना नाम न बताने के लिए भोसरी के भाजपा विधायक महेश लांडगे पर भी कटाक्ष किया। पवार ने लांडगे को सलाह दी कि किसी को भी योग्य व्यक्ति को उचित श्रेय देने में "कंजूसी" नहीं करनी चाहिए।