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11 April 2018

SC ने कहा, ताजमहल पर दावा करने वाला वक्फ बोर्ड शाहजहां के दस्तखत वाले दस्तावेज दिखाए

file photo

सुप्रीम कोर्ट ने ताजमहल पर मालिकाना हक दावा करने वाले उत्तर प्रदेश सुन्नी वक्फ बोर्ड से मुगल बादशाह शाहजहां द्वारा दस्तखत किया हुआ दस्तावेज पेश करने को कहा है। मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा के नेतृत्व वाली बेंच ने बोर्ड के वकील को आदेश दिया कि वे बोर्ड के पक्ष में लिखा वक्फनामा कोर्ट को दिखाएं। कोर्ट ने मामले की अगली सुनवाई 17 अप्रैल को करेगा।

बेंच, जिसमें जस्टिस एएम खानविल्कर और जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ भी शामिल हैं, ने कहा कि भारत में कौन विश्वास करेगा कि यह (ताजमहल) वक्फ बोर्ड की संपत्ति है। उन्होंने कहा कि ऐसे मुद्दों से सर्वोच्च न्यायालय का समय बर्बाद नहीं करना चाहिए। जब वक्फ बोर्ड के वकील ने कोर्ट को बताया कि शाहजहां ने खुद ताजमहल को वक्फ की संपत्ति घोषित किया था तब उन्हें दस्तावेज दिखाने के लिए कहा गया। मुख्य न्यायाधीश द्वारा हमें दस्तखत दिखाएं, कहे जाने पर वकील ने संबंधित दस्तावेज दिखाने के लिए और समय की मांग की।

बेंच ने वकील से यह भी कहा कि शाहजहां किसी दस्तावेज पर हस्ताक्षर कैसे कर सकता है क्योंकि गद्दी के लिए हुए संघर्ष के बाद उसे उसके बेटे औरंगजेब ने 1658 में आगरा किले में कैद कर लिया था। शाहजहां की मौत इसी किले में 1666 में हुई थी।

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शीर्ष अदालत ने भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआइ) की याचिका पर मंगलवार को सुनवाई के दौरान कहा कि मुगलकाल का अंत होने के साथ ही ताजमहल और अन्य ऐतिहासिक मुगलकालीन इमारतें अंग्रेजों को हस्तांतरित हो गई थी। आजादी के बाद से यह स्मारक सरकार के पास हैं और एएसआइ इनकी देखभाल करता है। आइएसआइ के वकील ने भी कहा कि इस बारे में कोई वक्फनामा नहीं है। वक्फनामा एक दस्तावेज है जिसके माध्यम से किसी व्यक्ति को धर्मार्थ उद्देश्यों या वक्फ के लिए संपत्ति या जमीन दान करने की इच्छा व्यक्त की जाती है। ताजमहल का निर्माण शाहजहां ने अपनी पत्नी मुमताज महल की याद में 1631 में किया था।

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TAGS: Taj Mahal, Supreme Court, Sunni, Waqf, Board, Mughal, emperor, ShahJahan
OUTLOOK 11 April, 2018
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