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19 April 2018

कैश की किल्लत पर चिदंबरम का तंज, बोले- सरकार को डराने फिर लौट आया है नोटबंदी का ‘भूत’

File Photo

देश के कई हिस्सों में अचानक आई कैश की किल्लत को लेकर अब पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम ने भी केंद्र की मोदी सरकार पर निशाना साधा है। चिदंबरम ने तंज कसते हुए कहा कि नोटबंदी का ‘भूत’ सरकार और आरबीआई को डराने के लिए फिर से लौट आया है। उन्होंने आरोप लगाया कि 2000 रुपये के नोट जमाखोरों की मदद के लिए छापे गए थे।

देश के कई हिस्सों में नकदी की समस्या के मद्देनजर उन्होंने कहा कि इस बात का अंदेशा है कि बैंकों में घोटालों के कारण बैंकिंग प्रणाली से लोगों का भरोसा उठ चुका है और वे अपनी बचत बैंकों में नहीं रख रहे हैं। उन्होंने कहा कि नोटबंदी का ‘भूत’ सरकार और रिजर्व बैंक को डराने के लिए वापस लौट आया है। चिदंबरम ने सवाल उठाया कि नोटबंदी के 17 महीनों के बाद भी अभी तक एटीएम मशीनों को नए नोटों के अनुरूप क्यों नहीं किया जा सका?


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पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम ने ट्वीट के जरिए कहा कि 500 रुपये और 1000 रुपये के नोट बंद करने के बाद सरकार ने 2000 रुपये का नोट छापना शुरू किया। अब सरकार शिकायत कर रही है कि 2000 रुपये के नोटों की जमाखोरी की जा रही है। हमें पहले से ही मालूम था कि 2000 रुपये के नोट जमाखोरों की मदद के लिए छापे गए हैं।

आगे पूर्व वित्त मंत्री ने रिजर्व बैंक के नकदी की कमी नहीं होने दावे को खारिज करते हुए इसे असंतोषजनक बताया। उन्होंने कहा कि यदि रिजर्व बैंक ने पर्याप्त नोट छापे और आपूर्ति की, तो उसे बताना चाहिए कि नकदी की कमी कैसे हुई?

उन्होंने कहा कि मुझे इस बात का शक है कि रिजर्व बैंक ने फसल सत्र के बाद की नकदी की मांग का आकलन करने में गंभीर गलती की है। क्या यह सच है कि चलन में नकदी की मात्रा में नोटबंदी के बाद महज 2.75 फीसदी वृद्धि हुई है? यदि हां तो मैं दावा करता हूं कि सरकार और रिजर्व बैंक मुद्रा की आपूर्ति की वृद्धि जीडीपी की वृद्धि के समान नहीं होने दे रहा है।

पूर्व वित्त मंत्री ने इस बात का संदेह व्यक्त किया कि आम लोग नकदी निकाल तो रहे हैं, पर उसे वापस बैंक में नहीं डाल रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह संभव है कि बैंकों पर लोगों का भरोसा कम हुआ है। बैंकों में हुए घोटाले इसकी वजह हो सकते हैं।

वहीं, चिदंबरम ने डिजिटलीकरण को समर्थन देने की बात करते हुए कहा कि सरकार को डिजिटलीकरण की रफ्तार आरोपित नहीं करनी चाहिए और नकदी की आपूर्ति में जानबूझकर कमी नहीं लानी चाहिए।

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TAGS: ghost of demonetisation, come back, haunt, Govt and RBI, Chidambaram
OUTLOOK 19 April, 2018
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