दिल्ली में अब घर बैठे बनवा सकेंगे प्रमाण-पत्र
जन्म, मृत्यु, जाति, आय जैसे तमाम प्रमाण-पत्र बनाने के लिए दिल्ली के लोगों को नए साल में दफ्तरों के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। केवल एक कॉल से सारा काम हो जाएगा। दिल्ली कैबिनेट ने गुरुवार को यह फैसला किया। देश में अपनी तरह का यह पहला कदम है।
उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने बताया कि अभी सरकारी सर्विसेस के लिए लोगों को दफ्तरों के चक्कर काटने पड़ते हैं। कभी फॉर्म जमा कराने तो कभी दस्वावेजों का सत्यापन के लिए। इस झंझट से लोगों को निजात दिलाने के लिए सरकार ने प्रमाण-पत्र की होम डिलेविरी सेवा शुरू करने का फैसला किया है।
उन्होंने बताया कि इस काम के लिए एक एजेंसी हायर की जाएगी जो मोबाइल सहायक की नियुक्ति करेगा। एक कॉल सेंटर होगा जो सारी चीजों को कॉर्डिनेट करेगा। आवेदक को बस एक कॉल करना होगा। मोबाइल सहायक आवेदक की सुविधा के अनुसार दस्तावेज लेने घर पहुंचेगा। यह रविवार भी हो सकता है या फिर सुबह और शाम का समय भी। सहायक के पास सारे जरूरी उपकरण होंगे। कैमरा और बायोमैट्रिक मशीन भी लेकर जाएगा। अगर किसी दस्तावेज को स्कैन करने की जरूरत होगी तो मौके पर ही स्कैन करके अपलोड किया जाएगा। पहले चरण में सरकार 40 सर्विसेज को इसमें जोड़गी और फिर हर माह तीस सर्विस जुड़ती जाएंगी। इसमें जाति प्रमाण पत्र या ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने से लेकर सीवर पानी का कनेक्शन लेने तक की सर्विस भी शामिल होगी। इस सेवा का लाभ उठाने के लिए लोगों को नाममात्र का शुल्क देना होगा।
उप मुख्यमंत्री ने बताया कि ड्राइविंग लाइसेंस का फॉर्म और कागजात भी घर पर जमा हो जाएंगे केवल टेस्ट के लिए तय तिथि पर दफ्तर जाना होगा। पहले चरण में जिन 40 सर्विस को इससे जोड़ा जाएगा उसमें ओबीसी, एससी, एसटी, आय या दिव्यांग प्रमाण पत्र बनवाना, डोमेसाइल प्रमाण पत्र, मैरिज पंजीकरण, डुप्लीकेट आरसी, आरसी का पता बदलवाना, मालिकाना हक बदलवाना, एऩओसी, डीएल की सभी सेवाएं, पेंशन योजना, राशन विभाग, जल बोर्ड की सेवाएं, लेबर विभाग की सेवाएं शामिल होंगी। सिसोदिया ने बताया कि बीते तीन सालों में करीब 25 लाख लोगों ने इन सेवाओं के लिए सरकारी दफ्तरों में आवेदन किया है।