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31 August 2025

हिंदी-चीनी रिश्तों में गर्माहट, ट्रंप के भारत टैरिफ पर चीन ने जताई कड़ी आपत्ति

अमेरिका की कड़े व्यापार नीतियों के बीच भारत और चीन के संबंधों में सुधार की प्रक्रिया शुरू हो गई है। बीजिंग स्थित थिंक टैंक ताइहे इंस्टिट्यूट के वरिष्ठ विशेषज्ञ एइनार टैंगन ने डोनाल्ड ट्रम्प द्वारा भारत और अन्य देशों पर लगाए गए उच्च टैरिफ की तुलना “स्कूल के सबसे बड़े बच्चे से” की, जो “दूसरों का लंच चोरी करता है।”

टैंगन ने कहा कि ट्रम्प के यह दावे कि उन्होंने व्यापार का इस्तेमाल कर भारत और पाकिस्तान को संघर्ष विराम के लिए मजबूर किया, वास्तविकता से दूर हैं। उन्होंने कहा, “ट्रम्प इस मामले में कोई अहम खिलाड़ी नहीं थे। और अगर आप सभी 'युद्ध जो उसने खत्म किए' देखें, वे अब भी जारी हैं।”

टैंगन ने अमेरिकी नीतियों की आलोचना करते हुए कहा कि ट्रम्प की 180 पत्रों की भेजी गई सूची, जिसमें ऑस्ट्रेलिया के हीर्ड और मैकडोनाल्ड द्वीप जैसे मानव रहित इलाके भी शामिल थे, यह दिखाती है कि यह केवल बलपूर्वक कार्रवाई थी। उन्होंने कहा, “यह सिर्फ बलात्कार है। यह शर्मनाक है। ट्रम्प कहते हैं कि ‘अमेरिका दुनिया को डराने वाला नहीं है’, लेकिन 180 पत्र भेजकर शुल्क लगाने की बात करना कूटनीति नहीं है।”

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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और राष्ट्रपति शी जिनपिंग की तियानजिन में हुई मुलाकात को एशियाई दिग्गजों के बीच संबंधों में सुधार का सबसे गर्म संकेत माना जा रहा है। टैंगन ने कहा, “फसल लेने के लिए बीज बोने होते हैं। मुझे लगता है कि ये बीज अक्टूबर में बो दिए गए थे,” उन्होंने 2024 में ब्रिक्स सम्मेलन के दौरान कज़ान में हुई मोदी-शी मुलाकात का हवाला दिया।

सुरक्षा के मामले में उन्होंने कहा कि दोनों देशों की सीमा पर सैनिकों की संख्या कम करना अच्छा होगा, लेकिन विश्वास बनाने में समय लगेगा। आर्थिक सहयोग पर उन्होंने कहा कि “यह लेन-देन आधारित है और पहले से ही कई सकारात्मक पहलें चल रही हैं — दुर्लभ पृथ्वी के खनिज, टनल बोरिंग मशीन, उर्वरक आदि।”

उन्होंने कहा कि भारत में श्रम लागत सस्ती है, जबकि चीन में वेतन अपेक्षाकृत अधिक है, इसलिए दोनों देश मिलकर काम करने के लिए तैयार हैं। उन्होंने यह भी कहा कि यह मुलाकात केवल भारत-चीन तक सीमित नहीं थी, बल्कि कई अन्य देशों की वैश्विक चिंता को ध्यान में रखते हुए हुई है।

इस मुलाकात और व्यापारिक तनाव के बाद दोनों एशियाई दिग्गज देशों के बीच सहयोग और संवाद की नई संभावनाएं बन रही हैं।

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TAGS: India-China relations, Modi-Xi meeting, Donald Trump, US tariffs, trade policy, Galwan clash, border security, geopolitical expert, Einar Tangen, Taihe Institute
OUTLOOK 31 August, 2025
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