Advertisement
13 February 2020

भारत ने हाफिज सईद को जेल भेजने के कदम दिखावा बताया, पर अमेरिका ने सराहना की

अंतरराष्‍ट्रीय आतंकी हाफिज सईद को आखिरकार पाकिस्‍तान की अदालत ने टेरर फंडिंग मामले में सजा सुना दी है। 26/11 मुंबई आतंकी हमले के मास्टरमाइंड हाफिज को आतंकवाद रोधी अदालत ने टेरर फंडिंग  के मामले में दोषी करार दिया है। हालांकि, भारत सरकार के सूत्र के अनुसार, पाकिस्‍तान को यह कदम अंतरराष्‍ट्रीय समुदाय के दबाव और एफएटीएफ की बैठक के कारण उठाना पड़ा है। वहीं पाक के इस कदम की अमेरिका ने सराहना की है। बता दें कि अदालत ने जमात-उद-दावा के सरगना हाफिज सईद को 11 साल जेल की सजा सुनाई है।

सरकारी सूत्रों के अनुसार, “हमने मीडिया रिपोर्टों में देखा है कि पाकिस्तान की अदालत ने टेरर फंडिंग मामले में संयुक्त राष्ट्र द्वारा नामित और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अभियुक्त आतंकवादी हाफिज सईद को सजा सुनाई है। यह पाकिस्तान पर लंबे वक्त से लंबित अंतरराष्ट्रीय दायित्व का हिस्सा है, ताकि आतंकवाद का खात्‍मा किया जा सके। हालांकि, पाकिस्‍तान की नीयत पर संदेह जताते हुए सरकारी सूत्र ने कहा, 'फाइनेंसिएल एक्शन टास्क फोर्स (एफएटीएफ) की बैठक की पूर्व संध्या पर फैसला किया गया है, जिस पर ध्‍यान दिया जाना है। इसलिए, इस निर्णय की प्रभावकारिता देखी जा सकती है।”

क्या और भी आतंकी संगठनों पर कार्रवाई करेगा पाक?’

Advertisement

सूत्र ने कहा  कि यह भी देखा जाना चाहिए कि क्या पाकिस्तान अपने नियंत्रण में आने वाले सभी आतंकवादी संगठनों और क्षेत्रों से काम करने वाले लोगों के विरूद्ध कार्रवाई करेगा? क्‍या मुंबई और पठानकोट में सीमा पार से हुए आतंकवादी हमलों के अपराधियों को पर कार्रवाई करेगा?

दरअसल, एफएटीएफ ने पाकिस्तान को अपनी ग्रे सूची में डाल है और उसपर काली सूची में जाने का खतरा मंडरा रहा था। ऐसे में पाकिस्‍तान को यह कदम उठाना पड़ा है। आतंकवाद विरोधी अदालत ने 11 दिसंबर को टेरर फंडिंग मामलों में सईद और उसके करीबी सहयोगियों को दोषी ठहराया था।

अमेरिका ने क्या कहा?

दक्षिण एशिया के शीर्ष राजनयिक एलिस वेल्स ने ट्वीट किया कि हाफिज सईद और उसके सहयोगी की सजा, उसके अपराधों के लिए लश्कर के जवाबदेह और पाकिस्तान के लिए अपनी अंतरराष्ट्रीय प्रतिबद्धताओं को पूरा करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। वह आतंकवादी समूह लश्कर-ए-तैयबा का जिक्र कर रही थी। मुंबई की घेराबंदी के लिए नई दिल्ली और वॉशिंगटन दोनों ने लश्कर-ए-तैयबा को जिम्मेदार ठहराया है। बता दें कि इस हमले में 166 लोग मारे गए थे।

इस मामले में मिली है सजा

सईद को लाहौर और गुजरांवाला में दर्ज दो टेरर फंडिंग मामलों में सजा सुनाई गई है। कोर्ट ने सईद को दोनों मामलों में साढ़े पांच- साढ़े पांच साल की सजा सुनाई है जो साथ-साथ चलेंगी। इसके साथ ही प्रत्येक मामले में 15,000 रुपये का जुर्माना भी लगाया है।

अब आप हिंदी आउटलुक अपने मोबाइल पर भी पढ़ सकते हैं। डाउनलोड करें आउटलुक हिंदी एप गूगल प्ले स्टोर या एपल स्टोरसे
TAGS: Pak, Jails, Hafiz Saeed, FATF, India, Efficacy
OUTLOOK 13 February, 2020
Advertisement