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26 April 2020

दिल्ली की कैंसर सर्वाइवर महिला बनीं मिसाल, क्राउडफंडिंग से की 25,000 गरीब परिवारों की मदद

File Photo

छत्तीस वर्षीय आंचल शर्मा तीन साल पहले स्तन कैंसर से जूझ रही थीं। लेकिन आज लॉकडाउन के दौरान वह हजारों झुग्गीवासियों और दैनिक वेतन भोगियों के लिए आशा और खुशी का स्रोत बन गई हैं। आंचल ने 25,000 से अधिक परिवारों को राशन और खाद्य सामग्री मुहैया कराने के लिए 1.25 करोड़ रुपये जुटाए हैं।

प्रोफेशनल मोटिवेशनल स्पीकर शर्मा ने कहा, "लोगों और अन्य संगठनों ने मुझे 1.25 करोड़ से अधिक धन जुटाने में मदद की है, जिससे मैं दिल्ली, बिहार, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, जम्मू और कश्मीर और अंडमान और निकोबार में 25000 से अधिक परिवारों की सहायता कर पा रही हूँ।"

आंचल ने 2017 में स्तन कैंसर को मात देने के बाद झुग्गी-झोपड़ी में रहने वाले बच्चों के लिए भोजन उपलब्ध कराने के लिए एक एनजीओ "मील्स ऑफ़ हैपीनेस" शुरू की।
शर्मा ने कहा, "मैं सोची थी कि मैं जीवित नहीं रहूंगी क्योंकि मैं इस खतरनाक बीमारी से जूझ रही थी।  जब मैं ठीक हो गई तब मुझे एहसास हुआ कि मैं एक बदली हुई औरत हूँ। ” 

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प्रारंभ में अपनी कमाई में से उन्होंने नियमित रूप से 500 से अधिक बच्चों के लिए भोजन की व्यवस्था की।  वह कहती है कि उसे बच्चों को खिलाने में मज़ा आता है क्योंकि वह गरीबी में बढ़ी है और बचपन में कई चीजों से वंचित थी।

जब कोविड-19 का प्रकोप देश में फैला और सरकार ने 24 मार्च को लॉकडाउन लागू किया, तो वह गरीब और दिहाड़ी मजदूरों की दुर्दशा की कल्पना कर सकती थीं।  दिल्ली और अन्य शहरों से अपने गृहनगर जाने के लिए भटकते मजदूरों के वीडियो से वह दुखी थीं। लिहाजा उन्होंने जरूरतमंदों को भोजन वितरित करने के लिए राज्य पुलिस और प्रशासन के साथ सहयोग करने का फैसला किया।

उन्होंने बताया, "दिल्ली पुलिस ने वसंत कुंज के करीब झुग्गी क्षेत्रों में भोजन वितरण के लिए अपने कांस्टेबलों का सहयोग दिया है।"   उन्होंने अंडमान में 1000 परिवारों को भोजन और राशन उपलब्ध कराने के लिए 6 लाख रुपये का दान दिया।

आंचल ने कहा, "हमने कश्मीर के बौंडीपुरा, पुसवारी, मारकुंडल, सुल्तानपुर जैसे गांवों में 100 परिवारों को गोद लिया है।" 

उन्होंने कहा, "मैं अन्य गैर सरकारी संगठनों, कल्याणकारी संगठनों, स्थानीय नेताओं, विधायकों और सांसदों की मदद लेती हूं ताकि मैं जरूरतमंद लोगों तक पहुंच बना सकूं।"

सिर्फ दो दिन पहले, दिल्ली के डॉक्टर प्रवीण कुमार प्रसाद ने बिहार के सीवान जिले में पाकड़ी पंचायत में ग्रामीणों की दुर्दशा की ओर ध्यान आकर्षित कराया। अंचल ने 565 से अधिक परिवारों को राशन का वितरण सुनिश्चित किया।  परिवारों में जिले के गरीब और कोविड-19 रोगियों के एक दर्जन से अधिक मामले शामिल हैं।

शर्मा ने बताया, “मैं ग्रामीणों के बीच सामाजिक दूरी के बारे में जागरूकता देखकर हैरान थी।  पिछले कुछ दिनों से भोजन की बेहद कमी के बावजूद, वितरण स्थल पर किसी की भीड़ नहीं थी और अनुशासन का पालन किया गया।  मैंने शहरी क्षेत्रों के लोगों में इस तरह का धैर्य नहीं देखा।

दिल्ली में नाथूपुर, साकेत, गोविंदपुरी, राजपुर खुर्द, विश्वास नगर, गांधी नगर और जाकिर नगर जैसे विभिन्न स्लम स्थानों पर 10,000 से अधिक परिवार भोजन के लिए उन पर निर्भर हैं।

उन्होंने कहा, "अगले दो दिनों में मैं 700 से अधिक परिवारों को भोजन वितरित करने के लिए बिहार के गोपागंज में जिला प्रशासन के साथ मिलकर काम करूंगी।"  उन्होंने कहा, "मैं कोशिश करूंगी और सुनिश्चित करूंगी कि कोई भी मेरे देश में खाली पेट न सोए।"

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TAGS: Cancer survivor, Delhi Woman, Anchal sharma, Crowdfunds Rs 1.25 Crore, Support Over 25000 Families, cocina, lock down
OUTLOOK 26 April, 2020
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