लद्दाख के अंदर पिछले चार महीने में जो टकराव की स्थिति बनी, उसका जिम्मेदार चीन: भारत
भारत और चीन के बीच जारी तनातनी बरकारर है। इस बीच विदेश मंत्रालय ने कहा कि यह स्पष्ट है कि बीते चार महीने में हमने जो हालात देखे हैं वे प्रत्यक्ष रूप से चीनी पक्ष की गतिविधियों का परिणाम है। विदेश मंत्रालय की तरफ से अनुराग श्रीवास्तव ने अपने एक बयान में कहा कि भारत और चीन के बीच आगे आर्मी और राजनयिक बातचीत होगी। भारत शांतिपूर्ण बातचीत के जरिए मामले के समाधान के लिए प्रतिबद्ध हैं।
विदेश मंत्रालय ने कहा कि मामले को जिम्मेदाराना तरीके से स्थिति को संभाला जाना चाहिये। यह स्पष्ट है कि बीते चार महीने में हमने जो हालात देखे हैं वे प्रत्यक्ष रूप से चीनी पक्ष की गतिविधियों का नतीजा हैं।
विदेश मंत्रालय ने कहा कि चीन की गतिविधियों का मकसद यथास्थिति में एकतरफा बदलाव करना है ।हालांकि विदेश मंत्रालय ने यह भी कहा किआगे भी बातचीत जारी रहेगी, भारत संवाद के जरिये सभी मुद्दों के समाधान के लिये प्रतिबद्ध ।
प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने कहा कि पुरजोर तरीके से चीन से आग्रह करते हैं कि वह पूरी तरह पीछे हटकर सीमा पर तेजी से शांति बहाली के लिये गंभीरता से भारतीय पक्ष का साथ दे।
वहीं कुलभूषण जाधव के मामले पर श्रीवास्तव ने कहा कि ‘हम राजनयिक चैनलों के माध्यम से पाकिस्तान के संपर्क में हैं. कुलभूषण जाधव की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए हमारी सरकार हर संभव कदम उठा रही है.’
अनुराग श्रीवास्तव ने रक्षामंत्री राजनाथ सिंह के रूस यात्रा के बारे में भी जानकारी दी। विदेश मंत्रालय ने बताया कि एसईओ के सदस्य देशों के विदेश मंत्रियों की बैठक में हिस्सा लेने के लिए विदेश मंत्री एस जयशंकर रूस जाएंगे।