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11 May 2019

भारतीय वायुसेना को मिला पहला अपाचे हेलीकॉप्टर, चीन-पाक सीमा पर होगी तैनाती

भारतीय वायुसेना को शनिवार को अपना पहला लड़ाकू हेलीकॉप्टर अपाचे गार्जियन मिल गया है। अमेरिकी कंपनी बोइंग निर्मित AH-64E अपाचे अटैक हेलिकॉप्‍टर दुनिया के सबसे आधुनिक और घातक हेलिकॉप्‍टर माने जाते हैं। अमेरिका के ऐरिजोना में भारतीय वायुसेना को पहला अपाचे हेलिकॉप्‍टर सौंपा गया। भारत ने अमेरिका से 22 अपाचे हेलिकॉप्‍टर खरीदने की डील की है।

आतंकी ठिकानों पर एयर स्‍ट्राइक को अंजाम दे सकता है

माना जा रहा है कि इस हेलिकॉप्‍टर के शामिल होने के साथ ही भारत अब अमेरिका की तरह पाकिस्‍तान में आसानी से आतंकी ठिकानों पर एयर स्‍ट्राइक को अंजाम दे सकता है। बता दें कि पिछले साल अमेरिका ने भारतीय सेना को छह एएच-64 ई हेलीकॉप्टर देने के समझौते पर हस्ताक्षर किया था। इसे चीन और पाकिस्तानी सीमा पर तैनात किया जाएगा।

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भारतीय सेना में विशुद्ध रूप से हमले करने का काम करेगा अपाचे

अपाचे पहला ऐसा हेलिकॉप्‍टर है जो भारतीय सेना में विशुद्ध रूप से हमले करने का काम करेगा। भारतीय सेना रूस निर्मित एमआई-35 का इस्‍तेमाल वर्षों से कर रही है लेकिन यह अब रिटायरमेंट की कगार पर है। अपाचे को इस तरह से डिजाइन किया गया है कि दुश्‍मन की किलेबंदी को भेदकर, उसकी सीमा में घुसकर हमला करने में सक्षम है।

10 बिंदुओं में जानिए अपाचे की खासियत

-    बोइंग एएच-64ई अमेरिकी सेना और अन्य अतंरराष्ट्रीय रक्षा सेनाओं का सबसे एडवांस हेलीकॉप्टर है। यह एक साथ कई काम करने में सक्षम है।

-    अपाचे हेलीकॉप्टर को अमेरिका ने पनामा से लेकर अफगानिस्तान और इराक तक के दुश्मनों से लोहा लेने में प्रयोग किया है। लेबनान और गाजा पट्टी में अपने सैन्य ऑपरेशनों के लिए इजरायल इसी का प्रयोग करता रहा है।

-    अमेरिकी सेना के एडवांस अटैक हेलिकॉप्टर प्रोग्राम के लिए इस हेलीकॉप्टर को बनाया गया था। साल 1975 में इसने पहली उड़ान भरी थी। अमेरिकी सेना में इसे साल 1986 में शामिल किया गया था।

-    इस हेलीकॉप्टर में दो जनरल इलेक्ट्रिक टी700 टर्बोशैफ्ट इंजन लगे हैं। इसमें आगे की तरफ सेंसर फिट है जिसकी वजह से यह रात के अंधेरे में भी उड़ान भर सकता है।

-    अपाचे 365 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से उड़ान भरता है। तेज गति के कारण यह दुश्मनों के टैंकरों के आसानी से परखच्चे उड़ा सकता है।

-    इस हेलीकॉप्टर में हेलिफायर और स्ट्रिंगर मिसाइलें लगी हैं। जिनके पेलोड इतने तीव्र विस्फोटकों से भरे होते हैं कि दुश्मन का बच निकलना नामुमकिन रहता है। इसके अलावा इसके दोनों तरफ 30एमएम की दो गन लगी हैं।

-    इसका वजन 5,165 किलोग्राम है। इसके अंदर दो पायलटों के बैठने की जगह होती है। इसे इस तरीके से डिजायन किया गया है कि यह युद्ध क्षेत्र में किसी भी परिस्थिति में टिका रह सकता है।

-    इसमें हेल्मेट माउंटेड डिस्प्ले, इंटिग्रेटेड हेलमेट और डिस्प्ले साइटिंग सिस्टम लगा है। जिसकी मदद से पायलट हेलिकॉप्टर में लगी ऑटोमैटिक एम230 चेन गन से अपने दुश्मन को आसानी से टारगेट कर सकता है।

-    अपाचे हर तरह की परिस्थिति और मौसम में अपने दुश्मन के लिए काल है।

-    अपाचे को अमेरिका के अलावा इजरायल, मिस्त्र और नीदरलैंड की सेनाएं भी इस्तेमाल करती हैं।

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TAGS: Indian Air Force, receives, first Apache Guardian, attack, helicopter, production facility, in Arizona, in the US.
OUTLOOK 11 May, 2019
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