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20 February 2021

जम्मू कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती को नोटिस जारी, राजद्रोह और तिरंगे के अपमान का है मामला

PTI/ File Photo

पीडीपी नेता व जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती पर राजद्रोह व तिरंगे पर अमर्यादित टिप्पणी करने के आरोप में पुनरीक्षण याचिका पर सुनवाई के बाद जौनपुर के जिला न्यायाधीश मदन पाल सिंह ने नोटिस जारी किया। सुनवाई के लिए 23 मार्च की तिथि नियत की है ।

दीवानी न्यायालय के अधिवक्ता हिमांशु श्रीवास्तव ने अधिवक्ता उपेंद्र विक्रम सिंह के माध्यम से मजिस्ट्रेट कोर्ट में दरखास्त दिया था ,कि 23 अक्टूबर 2020 को जम्मू कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री ने प्रेस कान्फ्रेंस में कहा कि अनुच्छेद 370 की बहाली तक वह लड़ती रहेंगी। आज के भारत के साथ जो हुआ सहज नहीं है। हमारा ध्वज लूटा गया है। वह और कोई झंडा नहीं उठाएंगी। जम्मू कश्मीर का झंडा जब उनके हाथों में होगा तभी वह तिरंगा उठाएंगी।

महबूबा मुफ्ती के इस बयान को गत 24 अक्टूबर की शाम छह बजे अधिवक्ता व गवाहों ने सुना था औरमहबूबा मुफ्ती के राजद्रोहात्मक व तिरंगे का अपमान करने वाला वक्तव्य को भी सुना, इससे उन्हें अत्यंत मानसिक कष्ट पहुंचा। यह देश को कमजोर करने वाला वक्तव्य रहा। इससे एकता व अखंडता पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ा। मजिस्ट्रेट अदालत ने यह कहते हुए दरखास्त अस्वीकार कर दिया था कि महबूबा मुफ्ती एमएलए हैं। लोक सेवक के विरुद्ध मुकदमा के राज्य की पूर्व स्वीकृति आवश्यक है।

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अधिवक्ता ने आदेश को अविधिक बताते हुए जिला जज की अदालत में पुनरीक्षण याचिका दाखिल की। कहा कि आरोप पत्र लगने के दौरान सरकार से पूर्व स्वीकृति जरूरी है न कि 156 (3) की दरखास्त पर एफआइआर दर्ज करने लिए। यह प्री-काग्निजेंस स्टेज है। ऐसे में जिला जज ने पुनरीक्षण याचिका स्वीकार करते हुए महबूबा मुफ्ती को नोटिस जारी किया है।

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TAGS: Jounpur Court, Mehbooba Mufti, Jammu and Kashmir
OUTLOOK 20 February, 2021
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