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25 December 2020

किसानों से बोले पीएम मोदी- जिन्होंने बंगाल को बर्बाद किया, उसी विचारधारा वाले दिल्ली में आंदोलन करवा रहे हैं

किसानों के साथ वर्चुअल संवाद करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि प्रदर्शनकारी किसान राजनीतिक रूप से प्रेरित हैं। बता दें कि पीएम ने किसान सम्मान निधि की नई किस्त जारी की जा रही है, जिसके तहत नौ करोड़ किसानों के खाते में 18 हजार करोड़ रुपये भेजे जा रहे हैं।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि किसानों की जमीन कोई नहीं ले सकता, जमीन को लेकर भ्रम फैलाया जा रहा है। उन्होंने कहा, कुछ लोग ऐसा भ्रम फैला रहे हैं कि आपकी फसल का कोई कांट्रैक्ट करेगा तो जमीन भी चली जाएगी। इतना झूठ बोल रहे हैं।

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि ये वही लोग हैं जो वर्षों तक सत्ता में रहें। इनकी नीतियों की वजह से देश की कृषि और किसान का उतना विकास नहीं हो पाया जितना उसमें सामर्थ्य था। पहले की सरकारों की नीतियों की वजह से सबसे ज्यादा बर्बाद छोटा किसान हुआ। किसानों के नाम पर अपने झंडे लेकर जो खेल खेल रहे हैं, अब उनको सच सुनना पड़ेगा। ये लोग अखबार और मीडिया में जगह बनाकर, राजनीतिक मैदान में खुद के जिंदा रहने की जड़ी- बूटी खोज रहे हैं।

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उन्होंने कहा कि मैं इन दलों से पूछता हूं कि यहां फोटो निकालने के कार्यक्रम करते हो, जरा केरल में आंदोलन करके वहां तो एपीएमसी चालू करवाओं। पंजाब के किसानों को गुमराह करने के लिए आपके पास समय है, केरल में यह व्यवस्था शुरू कराने के लिए आपके पास समय नहीं है। क्यों आप लोग दोगली नीति लेकर चल रहे हो। स्वार्थ की राजनीति करने वालों को जनता बहुत बारीकी से देख रही है।

मोदी ने कहा कि जो दल पश्चिम बंगाल में किसानों के अहित पर कुछ नहीं बोलते वो दल यहां किसान के नाम पर दिल्ली के नागरिकों को परेशान करने में लगे हुए हैं, देश की अर्थनीति को बर्बाद करने में लगे हुए हैं। मुझे आज इस बात का अफसोस है कि पश्चिम बंगाल के 70 लाख से अधिक किसान भाई-बहनों को इसका लाभ नहीं मिल पाया है।बंगाल के 23 लाख से अधिक किसान इस योजना का लाभ लेने के लिए ऑनलाइन आवेदन कर चुके हैं। लेकिन राज्य सरकार ने वेरिफिकेशन की प्रक्रिया को इतने लंबे समय से रोक रखा है।

 

प्रधानमंत्री मोदी ने अरुणाचल प्रदेश के गगन पेरिंग से संवाद किया। गगन ने पीएम को बताया कि उन्होंने अपने पैसों का इस्तेमाल ऑर्गेनिक फार्मिंग में किया और मजदूरों को पैसा दिया। पीएम मोदी ने गगन से पूछा कि क्या कंपनी सिर्फ आपकी अदरक ले जाती है या जमीन ही ले जाते हैं।

इसके अलावा पीएम ने ओडिशा के एक किसान से चर्चा की, पीएम मोदी ने इस दौरान किसान क्रेडिट कार्ड को लेकर उनसे बात की और उसके फायदे के बारे में पूछा। पीएम मोदी ने कहा कि अटल जी की सरकार ने किसानों को सस्ते में कर्ज देने की शुरुआत की थी, हम उसे आगे बढ़ा रहे हैं. हरियाणा के किसान हरि सिंह ने पीएम मोदी से बात की। हरि सिंह ने बताया कि पहले वो धान की खेती करते थे, अब बागवानी करते हैं. महाराष्ट्र के किसान गणेश से पीएम मोदी ने संवाद किया।

वहीं केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि पंजाब सहित थोड़े से कुछ किसान भाई-बहनों के मन में नए कानूनों को लेकर भ्रम पैदा हुआ है। मैं उनको आग्रह करता हूं कि वो इस आंदोलन को त्याग कर सरकार के वार्ता के निमंत्रण पर आएं। मुझे आशा है कि किसान नए कानून के मर्म और महत्व को समझेंगे और हम समाधान की ओर अग्रसर होंगे।

बता दें कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पीएम किसान सम्मान निधि योजना की अगली किस्त वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से एक बटन दबाकर 9 करोड़ से अधिक किसान लाभार्थियों के खातों में 18,000 करोड़ रुपये हस्तांतरित की। पीएम-किसान योजना के तहत, पात्र लाभार्थी किसानों को 6,000 रुपये प्रति वर्ष का वित्तीय लाभ प्रदान किया जाता है, जो कि 2,000 रुपये की हर चार माह में तीन समान किस्तों में देय है। धन को सीधे लाभार्थियों के बैंक खातों में अंतरित किया जाता है।

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TAGS: प्रदर्शनकारी किसान, कृषि कानून, किसान आंदोलन, किसान संवाद, मोदी, नरेंद्र मोदी, पीएम मोदी, Protesting Farmers, PM Modi, Farm laws, farmers
OUTLOOK 25 December, 2020
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