स्वदेशी जागरण मंच की पीएम मोदी से मांग- हरसिमरत बादल और वॉलमार्ट के संबंधों की हो जांच
नरेन्द्र मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल शुरू होने से पहले जहां मंत्रिमंडल गठन को लेकर अटकलें तेज हैं वहीं केन्द्रीय खाद्य मंत्री हरसिमरत कौर बादल को लेकर एक ताजा विवाद सामने आया है। राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ की आर्थिक मामलों की इकाई स्वदेशी जागरण मंच (एसजेएम) ने मांग की है कि हरसिमरत कौर की ग्लोबल रिटेल दिग्गज वॉलमार्ट के साथ रिश्तों की जांच की जाए। बता दें कि वॉलमार्ट लंबे समय से भारत के फूड मार्केट में आने की तैयारी में है।
ताजा विवाद वॉलमार्ट इंडिया के सीईओ क्रिश अय्यर के ट्वीट से शुरू हुआ। अय्यर ने हाल में ट्वीट करते हुए हरसिमरत कौर को भटिंडा से चुनाव जीतने की बधाई दी लेकिन यह ट्वीट एसजेएम को नागवार गुजर रहा है।
स्वदेशी जागरण मंच के सह संयोजक अश्विनी महाजन ने ट्विटर पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, पीयूष गोयल और अरूण जेटली को टैग करते हुए लिखा है कि वॉलमार्ट के इस ट्वीट पर आपका ध्यान आकर्षित किया गया है, बिना कारण के नहीं। श्रीमती हरसिमरत बादल कंपनी को एफडीआई का लाभ दिलाने के लिए फूड रिटेल खोलने आदि में मदद कर रही हैं। कृपया इसे ध्यान में रखें।
महाजन ने एक और ट्वीट में लिखा, “स्वदेशी जागरण मंच ने आरोप लगाया कि खाद्य प्रसंस्करण मंत्री के रूप में हरसिमरत बादल ने भारत में रिटेल में वॉलमार्ट के प्रवेश के लिए दरवाजे खोल दिए हैं। एसजेएम हरसिमरत और वॉलमार्ट के बीच 'मिलीभगत' की जांच की मांग करता है।” उन्होंने ऐसा ट्वीट किस आधार पर किया इसके लिए आउटलुक ने अश्विनी महाजन से बात की है। उनका कहना है कि दो साल पर हरसिमरत कौर बादल ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर फूड प्रोसेसिंग सेक्टर में मल्टी ब्रांड रिटेल में एफडीआई का रास्ता खोलने की मांग की थी। उस समय हमने चेताया था कि फूड मार्केटिंग में एफडीआई का दरवाजा नहीं खोलना चाहिए। उस वक्त बादल की दलील थी कि इसकी वजह से फूड प्रोसेसिंग सेक्टर में 10 हजार करोड़ का निवेश आएगा और नौकरियों के अवसर पैदा होंगे। लेकिन इसमें ऐसा कुछ नहीं हुआ।
बता दें कि केंद्रीय मंत्री और शिरोमणि अकाली दल की नेता हरसिमरत कौर बादल ने लोकसभा चुनाव में कांग्रेस कैंडिडेट अमरिंदर सिंह राजा को हराकर जीत हासिल की है। बठिंडा से दो बार की सांसद कौर ने वडिंग को 21,772 मतों से पराजित किया। अब इस घटना के बाद उन्हें मंत्री बनाया जाता है कि नहीं इस पर सबकी नजर होगी।
वालमार्ट को लेकर स्वदेशी मंच ने पहले भी पीएम को लिखी थी चिट्ठी
पिछले साल स्वदेशी जागरण मंच ने वॉलमार्ट फ्लिपकार्ट में 16 अरब डालर के हिस्सेदारी के अधिग्रहण की पहल पर भी आपत्ति जताई थी। मंच का आरोप था कि खुदरा व्यापार क्षेत्र की अमेरिकी कंपनी वॉलमार्ट फ्लिपकार्ट में 16 अरब डालर के बहुलांश हिस्सेदारी के अधिग्रहण की पहल के साथ भारत में पिछले दरवाजे से प्रवेश का प्रयास कर रही है। स्वदेशी जागरण मंच ने इस मुद्दे पर राष्ट्रीय हितों की सुरक्षा के लिये प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से हस्तक्षेप करने का आग्रह किया था।
मंच ने प्रधानमंत्री को इस विषय पर पत्र लिखा था और उनसे यह सुनिश्चित करने का आग्रह किया है कि समाज के निचले पायदान के लोगों के हितों के साथ देश के कृषि क्षेत्र की सुरक्षा सुनिश्चित की जाए।