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24 September 2016

तिब्बत मुक्ति के लिए तवांग तीर्थ यात्रा

‘फ्री तिब्बत’ का नारा सिर्फ तिब्बतियों के मन की ही बात नहीं है। भारतीय भी चाहते हैं कि तिब्बत को आजादी मिले। इसी आजादी का सपना संजोए कई तिब्बती शरणार्थी भारत में हैं। इसी आजादी की आवाज को बुलंद करने के लिए भारत-तिब्बत सहयोग मंच बनाया गया है। इस मंच के संरक्षक इंद्रेश कुमार हैं। यही मंच हर वर्ष अरुणाचल के तवांग तक एक यात्रा का आयोजन करता है, जिसे नाम दिया गया है, तवांग तीर्थ यात्रा आयोजन। इस मंच के संरक्षक इंद्रेश कुमार हैं। 

इस यात्रा का मकसद है भारत-तिब्बत से लगी चीन की सीमा पर देशभक्ति का संदेश दिया जाए और देशभक्ति के गीत गा कर सीमा के करीब रह रहे भारतवासियों को एकता-एकजुटता का संदेश दिया जाए। यात्रा के संयोजक पंकज गोयल ने बताया, ‘हमारा उद्देश्य इतना ही है कि चीन ने जो कब्जा किया है वह छोड़े। चीन की सीमा अरुणाचल पर काम करती है। वहां की सेना सीमा के पास रहने वाले लोगों को बरगलाती है। हम चाहते हैं वहां रहने वाले लोगों के बीच भी भारतीयता की भावना जागे। तवांग यात्रा का यही संदेश है कि सुदूर पूर्वोत्तर के लोग जान सकें कि वह भी भारत के अंग हैं भारत उनका भी है।’ इस यात्रा में इंद्रेश कुमार के साथ पूर्वोत्तर के प्रचारक सुनील मोहंती भी होंगे।

इस बार इस यात्रा को खूब प्रतिसाद मिल रहा है। इस यात्रा के लिए 15000 हजार रुपये शुल्क रखा गया है। पूरे भारत से इसमें प्रतिभागी हिस्सा ले रहे हैं। मध्य प्रदेश से 25, उत्तर प्रदेश से 36, दिल्ली से 30, गुजरात से 20, कर्नाटक से 16, राजस्थान से 8, छत्तीसगढ़ से 4, पंजाब से 4 और हरियाणा से 20 लोग अभी तक अपना पंजीकरण करा चुके हैं। पकंज गोयल कहते हैं, ‘इस यात्रा का फायदा यह हो रहा है कि स्थानीय लोगों से संवाद बढ़ रहा है। चीन की सेना ग्रामीणों को कहती है कि आपका चेहरा-मोहरा हमारी तरह है आप हमारे देश के हो। अब यात्रा का जगह-जगह अभिनंदन होता है। स्वागत के लिए लोग इंतजार करते हैं। यह अच्छी पहल है जिसे हम बनाए रखना चाहते हैं।’ 

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TAGS: tawang teerth yatra, pankaj goyal, indresh kumar, sunil mohanty, तवांग तीर्थ यात्रा, पंकज गोयल, इंद्रेश कुमार, सुनील मोहंती
OUTLOOK 24 September, 2016
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