पूरे देश में एनआरसी लागू हुआ तो इन पर असर पड़ेगा
नागरिकता संशोधन विधेयक संसद के दोनों सदनों से पारित होने और कानू बनने के बाद राष्ट्रीय स्तर पर एनआरसी (राष्ट्रीयता नागरिकता रजिस्टर) को लेकर चर्चाएं तेज हो गई है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह सहित कई मंत्री इसे जल्दी ही पूरी देश में लागू करने जरूरत पर बल दिया है और इसके संकेत भी दिए हैं। जबकि विपक्षी नेताओं सहित तमाम लोग इस पर िचंता जता रहे हैं। आखिर एनआरसी में चिंता की बात क्या है। इससे जुड़े प्रमुख पहलू इस प्रकार हैं।
किन पर लागू होगा एनआरसी
एनआरसी पिछले महीनों के दौरान असम में लागू किया गया था। सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर स्थानीय निवासियों और बाहरी लोगों में पहचान के लिए यह प्रक्रिया चलाई गई थी। असम की तरह एनआरसी पूरे देश में लाने के लिए अमित शाह ने प्रस्ताव किया है। अगर यह प्रक्रिया पूरे देश में चलाई जाती है तो सरकार बाहरी लोगों की पहचान करके उन्हें वापस भेजेगी।
इन्हें मिलेगी राहत लेकिन यह है शर्त
हाल में लागू हुआ नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) एनआरसी के लिहाज से अभी प्रस्ताव भर है। अगर इसे लागू किया जाता है तो यह अवैध रूप से भारत में रहने वाले लोगों की पहचान किया जाएगा। हालांकि नए कानून के मुताबिक अफगानिस्तान, पाकिस्तान और बांग्लेदेश से आए हिंदू, सिख, क्रिश्चियन, बौद्ध, जैन और पारसी समुदाय के अवैध रूप से आए लोगों पर असर नहीं पड़ेगा, अगर वे धार्मिक उत्पीड़न के कारण भारत आने की बात कहते हैं।
मुस्लिमों पर असर पड़ेगा
अगर एनआरसी राष्ट्रीय स्तर पर लागू किया जाता है तो पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान को छोड़कर किसी अन्य देश से आने वाले लोग प्रभावित होंगे। इसके अलावा, नए कानून के लागू होने से इन तीनों देशों से आने वाले मुस्लिम समुदाय के लोगों पर भी इसका असर पड़ेगा।
वापस भेजने की यह प्रक्रिया होगी
एनआरसी लागू होने पर अवैध विदेशी के तौर पर पहचाने गए लोगों को डिटेंशन सेंटरों में भेजा जाएगा। असम में एनआरसी लागू होने के समय ऐसा ही हुआ था। विदेश मंत्रालय संबंधित देश से बात करेगा ताकि उन्हें उनके देश में वापस भेजा जा सके। संबंधि देशों के रिकॉर्ड से इन लोगों के विवरण से मिलान होने पर उन्हें वापस भेज दिया जाएगा।
क्या जल्दी आएगा एनआरसी
अमित शाह ने पश्चिम बंगाल में कहा था कि सरकार इस साल अक्टूबर तक पूरे देश में एनआरसी लागू करना चाहती थी लेकिन टीएमसी सांसदों ने पिछली लोकसभा के कार्यकाल में विधेयक को राज्यसभा में पारित नहीं होने दिया। इस वजह से तमाम लोगों को नागरिकता मिलना अभी भी बाकी है। हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहनलाल खट्टर ने भी बीते चुनाव के समय राज्य में एनआरसी लागू करने की घोषणा की थी। वैसे तो एनआरसी कब लागू होगा, इसके बारे में कुछ भी कहना जल्दबाजी होगा। लेकिन सरकार जैसे अनुच्छेद 370, नागरिकता संशोधन विधेयक पर आगे बढ़ी, उससे देखकर लगता है कि एनआरसी पर भी जल्दी ही कुछ फैसला कर लेगी।