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09 November 2017

किसानों की आय दोगुनी करने का वादा एक और जुमलाः एआइकेएससीसी

देश के 180 से ज्यादा कृषक संगठनों के मंच अखिल भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति  (एआइकेएससीसी) ने किसानों की आय दोगुनी करने के केंद्र सरकार के वादे को एक और 'जुमला' करार दिया है। दिल्ली में गुरुवार को समिति के नेताओं ने ‘किसान की लूट’ नामक अभियान की शुरुआत करते हुए यह बात कही। इस अभियान के माध्यम से कठिन परिश्रम और जोखिम उठाकर देश के लिए अनाज पैदा करने वाले किसानों के साथ हो रहे अन्याय को सम‌ित‌ि के कार्यकर्ता सामने लाएंगे।

समिति के नेताओं ने कहा कि किसानों की उनकी फसल का लागत मूल्य भी नहीं मिल पा रहा है। जबकि 2014 के आम चुनावों में भाजपा ने लागत मूल्य से 50 फीसदी ज्यादा न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) तय करने का वादा किया था। 2017-18 में 14 खरीफ फसलों का एमएसपी लागत मूल्य से कम तय किया गया। इससे किसानों 2.03 लाख करोड़ का नुकसान हुआ। चार सीजन सूखा झेलने वाले किसान पिछले तीन सीजन से अनाज की उचित कीमत नहीं मिलने से नुकसान उठा रहे हैं। सभी प्रमुख फसलों की बिक्री सरकार द्वारा एमएसपी से कम कीमत पर हो रही है। इसके कारण ही किसान आत्महत्या करने और कर्ज के दलदल में फंसने को मजबूर हैं।

समिति के मुताबिक किसान मुक्ति यात्रा अब तक 18 राज्य में 10,000 किमी की दूरी पूरी कर चुकी है। इस दौरान 500 बैठकों के माध्यम से करीब 50 लाख किसानों से संपर्क किया गया। देश के सभी हिस्सों में लागत से कम कीमत मिलने, बढ़ते कर्ज, सरकारी मदद नहीं मिलने और सरकार द्वारा वादा पूरा नहीं पूरा किए जाने से किसानों में भारी असंतोष है। इन समस्याओं को लेकर समिति ने दिल्ली में 20 नवंबर को किसान मुक्ति संसद का आयोजन किया है। प्रेस वार्ता में समिति के संयोजक वीएम सिंह, स्वराज अभियान के योगेंद्र यादव,   स्वाभिमानी शेतकारी संगठन के सांसद राजू शेट्टी आदि मौजूद थे।

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TAGS: किसान, आय, जुमला, एआइकेएससीसी, Farmer, Campaign, KisanKiLoot
OUTLOOK 09 November, 2017
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