कौन है भारत का ये पहला शख्स, जिसने अपनी आंखों में टैटू बनवा लिया है
लोग तरह-तरह के शौक पालते हैं क्योंकि उन्हें विज्ञापनों ने बता दिया है कि 'शौक बड़ी चीज है।' इसी चक्कर में कुछ लोगों के शौक जुनून में भी बदल जाते हैं।
दिल्ली के 28 साल के करन पहले ऐसे भारतीय हैं, जिन्होंने आंखों पर टैटू करवाया है। ये जितना अजीब है उतना खतरनाक भी लेकिन करन ने ये कारनामा किया है। विश्व भर में आईबॉल टैटू काफी फेमस हो रहा है हालांकि डॉक्टर इसे सुरक्षित नहीं मानते।
करन खुद टैटू आर्टिस्ट हैं। डीएनए की रिपोर्ट के मुताबिक, करण कहते हैं कि इसमें जरा भी खतरा नहीं है और ये सिर्फ अलग दिखने का एक जरिया है।
आईबॉल टैटू करवाने में आंखों की पुतलियों को छोड़कर सफेद स्थान पर स्याही इंजेक्ट की जाती है, इससे पूरी आंखें काली नजर आती हैं। हालांकि लम्बे वक्त में इसके क्या साइड इफेक्ट होंगे, इस बारे में कुछ नहीं कहा जा सकता है।
रिपोर्ट के मुताबिक, करन के शरीर पर कितने टैटू हैं इसकी गिनती वो खुद भूल गए हैं। करन ने बताया, ‘इस समय मेरे शरीर पर अनगिनत टैटू हैं और 22 पियर्सिंग हैं।' वो पूरे शरीर को टैटू से ढक देना चाहते हैं।
आंखों पर टैटू करवाने के बारे में पूछने पर कि वो ऐसा क्यों करना चाहते थे, उन्होंने डीएनए को बताया, ‘मैं हमेशा से ऐसा कुछ करना चाहता था और मैंने ये उस शख्स से करवाया है, जिसने आईबॉल टैटू को एक दशक पहले शुरू किया था- हॉवर्ड स्मिथ। क्योंकि एक टैटू आर्टिस्ट के तौर पर मेरी आंखें मेरे लिए बहुत महत्वपूर्ण हैं।‘
करन के मुताबिक, 'जब वह 13 साल के थे, तब उन्होंने पहला टैटू बनवाया। 16 साल की उम्र में उन्होंने टैटू बनाने को अपनी हॉबी बना लिया और जल्द ही उन्होंने दिल्ली में अपना एक टैटू स्टूडियो खोल लिया।'
उन्होंने एनडीटीवी को बताया, 'उन्हें शुरू में लगा कि वो अपनी आंखों पर टैटू बनवाने के बाद पता नहीं कैसे लगेंगे। उन्होंने इसे परमानेंट करवाने के बारे में महीनों विचार किया और अपने दोस्तों और परिवार से इस बारे में सलाह-मशविरा किया।'
इस प्रक्रिया में लाखों रुपये लगे हैं और इसे न्यू यॉर्क में एक ऑस्ट्रेलियन टैटू आर्टिस्ट हॉवर्ड स्मिथ ने बनाया है लेकिन मेडिकल साइंस से जुड़े लोग इससे बहुत ज्यादा प्रभावित नहीं दिखते। एम्स के डॉक्टर अतुल कुमार कहते हैं, ‘मैंने अपने पूरे कॅरिअर में इस तरह की चीज के बारे में नहीं सुना है। मुझे तो ये भी नहीं पता था कि ऐसा कुछ होता भी है और लोग इसे लेकर दीवाने हैं। मैं इससे नुकसान के मामले में फिलहाल कुछ नहीं कह सकता।‘
इसी बीच मेलबर्न की एक चर्चित टैटू आर्टिस्ट लून कोबरा से ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड में आईबॉल टैटू बंद करने के लिए कहा गया है। मेलबर्न की इस आर्टिस्ट ने हजारों लोगों की आंखों में टैटू बनाए हैं।
असल में इस तरह से आंखों के सफेद भाग का रंग बदल सकता है, इंफेक्शन हो सकता है, आंखों में स्याही की वजह से दर्द हो सकता है, यहां तक कि आंखों की रोशनी हमेशा के लिए जा सकती है इसलिए शौक ऐसे भी न हों कि खुद को ही नुकसान पहुंचाएं।