Advertisement
15 November 2019

सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा, ऑड-ईवन बढ़ाने पर सोमवार को अंतिम फैसला

ANI

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने शुक्रवार को कहा कि राजधानी में ऑड-ईवन योजना बढ़ाने को लेकर अंतिम फैसला सोमवार को लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि अभी कल और परसों हवा की गुणवत्ता की जांच की जाएगी, जिसके बाद इस पर निर्णय लिया जाएगा। बता दें कि ऑड-ईवन को 4 से 15 नवंबर तक के लिए दिल्ली में लागू किया गया है, जिसका आज अंतिम दिन है।

एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में सीएम केजरीवाल ने कहा,"हम नहीं चाहते कि लोग अनावश्यक असुविधा से गुजरें।" उन्होंने कहा कि अगले दो-तीन दिनों में हवा की गुणवत्ता में सुधार की भविष्यवाणी की गई है। अगर अगले दो-दिनों में स्थिति नहीं सुधरी को सोमवार को ऑड-ईवन पर फैसला लिया जाएगा।

'प्रदूषण को लेकर हम काफी चिंतित हैं'

Advertisement

दिल्ली में प्रदूषण पर मुख्यमंत्री ने कहा कि राजधानी में जो अधिकतर प्रदूषण आता है, वह पड़ोसी राज्यों में पराली जलाई जाने की वजह से हो रहा है। उन्होंने कहा कि प्रदूषण को लेकर हम काफी चिंतित हैं। ऑड ईवन के मसले पर दिल्ली के लोगों ने बढ़ चढ़कर उनका साथ दिया है। प्रतिदिन 250-300 चालान हुए हैं  जो आबादी को देखते हुए बहुत कम हैं।

लोगों को हो रही है असुविधा

शुक्रवार को वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) सुबह 11.30 बजे काफी गंभीर श्रेणी 466 था। लगातार चौथे दिन दिल्ली में जहरीले धुंए की एक मोटी परत थी और लोगों का गला रुक रहा था, खुजली, आंखों में जलन और खांसी की समस्या बनी हुई थी। गुरुवार को कई बच्चों ने प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर वायु-प्रदूषण संकट को कम करने के लिए तत्काल हस्तक्षेप की मांग की थी,जिससे स्वास्थ्य जैसी आपातकालीन स्थिति पैदा हो गई थी।

मुफ्त में साफ होंगे सेप्टिक टैंक

अरविंद केजरीवाल ने बताया कि दिल्ली सरकार ने सेप्टिक टैंक की सफाई की योजना बनाई है। इसमें दिल्ली जल बोर्ड मुफ्त में सेप्टिक टैंक की सफाई करवाएगी। लोग फोन कर सेप्टिक टैंक की सफाई करवा सकेंगे। दिल्ली सरकार इसके लिए एक महीने में एजेंसी हायर करके टेंडर दे देगी। उन्होंने कहा कि  दिल्ली जल बोर्ड दिल्ली भर में सेप्टिक टैंकों की सफाई और रखरखाव सुनिश्चित करने के लिए प्रशिक्षित कर्मचारियों के साथ, 80 ट्रक तैनात करेगा। यमुना नदी के प्रदूषण को रोकने के लिए यह योजना स्वच्छता कर्मचारियों और उचित सेप्टिक अपशिष्ट प्रबंधन की सुरक्षा भी सुनिश्चित करेगी।

पराली जलाने के कई मामले सामने आए

सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद भी दिल्ली से सटे राज्यों में पराली जलाने के कई मामले सामने आए हैं। एक अक्टूबर से 12 नवंबर तक पंजाब में पराली जलाने के 46 हजार 211,  वहीं हरियाणा में 5 हजार 807 मामले सामने आए हैं। सरकार की वायु गुणवत्ता पर नजर रखने वाली सफर के मुताबिक फिलहाल 22 प्रतिशत प्रदूषण पराली जलाने की वजह से है।

 

अब आप हिंदी आउटलुक अपने मोबाइल पर भी पढ़ सकते हैं। डाउनलोड करें आउटलुक हिंदी एप गूगल प्ले स्टोर या एपल स्टोरसे
TAGS: Decision, odd, even extension, taken, Monday, Kejriwal
OUTLOOK 15 November, 2019
Advertisement