भारतीय-जनसंघ के संस्थापक दीनदयाल उपाध्याय के प्रपौत्र की चेतावनी, भाजपा नेताओं के निजी हमलों पर रोक लगाए हाईकमान
देहरादून। भाजपा की पूर्ववर्ती भारतीय-जनसंघ के स्थापना-पुरुष पंडित दीनदयाल उपाध्याय के प्रपौत्र प्रख्यात न्यायविद चंद्रशेखर पंडित भुवनेश्वर दयाल उपाध्याय ने भाजपा के बड़बोले नेताओं को कड़ी चेतावनी दी है। उन्होंने कहा है कि 24 घंटे के भीतर भाजपा अपने अध्ययनहीन नेताओं पर लगाम लगाए और हरीश रावत पर निजी हमलों से करने से रोके। वरना वह भाजपा के मुख्यमंत्रियों के भ्रष्टाचारों के अभिलेखीय-साक्ष्य सार्वजनिक कर देंगे।
उपाध्याय ने कहा कि उन्होंने कहा सिर्फ मुख्यमंत्रियों ही नहीं बल्कि भाजपा के कई राष्ट्रीय नेताओं तथा उत्तराखंड के लगभग सभी भाजपा नेताओं के भ्रष्टाचार को उन्होंने प्रत्यक्ष देखा है और उनके समस्त प्रमाण उनके पास हैं।
उन्होंने कहा कि उन अभिलेखीय-साक्ष्यों की सत्यता के लिए वह सभी भाजपाईयों का लाई-डिटेक्टर व नारको-टेस्ट कराने की मांग की सक्षम प्राधिकरण से करेंगे। उन्होंने कहा कि कांग्रेस की सरकार बनते ही सबसे पहला काम कुंभ समेत अन्य घोटालों की जांच के लिए हाईकोर्ट के सिटिंग जज की अध्यक्षता में एक आयोग गठन का होगा। इसके लिए कांग्रेस के अंदर सहमति बन गई है।
उपाध्याय ने अपने बयान में भाजपा को अपने 2017 के घोषणापत्र पर सार्वजनिक बहस की भी चुनौती दी है। अपने पुराने-मित्र जेपी नडडा के आग्रह पर उन्होंने उस घोषणा-पत्र पर काफी कार्य किया। इसे भाजपा के तीनों मुख्यमंत्रियों ने विस्मृत कर दिया। उन्होंने कहा कि भाजपा के मामूली नेता अपना अध्ययन बढ़ाएं और कांग्रेस के घोषणापत्र का भी अध्ययन करें।
यहां बता दें कि उपाध्याय इस समय कांग्रेसी नेता हरीश रावत के मुख्य प्रमुख सलाहकार हैं और इससे पहलेराज्य के एडीशनल एडवोकेट जनरल रह चुके हैं। उपाध्याय पूर्व सीएम बीसी खंडूड़ी और डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक के ओएसडी (न्यायिक, विधायी एवम् संसदीय-काय॔) रहे। इस समय उपाध्याय को हरीश रावत ने अपना मुख्य प्रमुख सलाहकार नियुक्त करते हुए उन्हें रामपुर तिराहा मामले में बलिदानियों एवम् आन्दोलनकारियों को पूण॔ न्याय दिलाने का कार्य सौंपा है।