यूएई से सहायता राशि न लेने पर केरल के सीएम ने साधा केंद्र सरकार पर निशाना
केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने बुधवार को कहा कि केंद्र सरकार द्वारा बाढ़ को लेकर संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) द्वारा सहायता राशि लौटाने पर सवाल उठाए हैं। असल में भारत 2004 से ही प्राकृतिक आपदाओं के लिए दूसरे देशों की सरकारों की मदद नहीं ले रहा है।
एएनआई के मुताबिक, विजयन ने कहा कि 2016 राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन नीति कहती है कि अगर किसी दूसरे देश की सरकार अपनी इच्छा से आपदी के पीड़ितों की मदद की पेशकश करती है तो केंद्र सरकार यह मदद स्वीकार कर सकती है।‘
उन्होंने कहा कि भारतीय, खासतौर से केरल के लोगों का यूएई के निर्माण में काफी योगदान है। साथ ही मुख्यमंत्री ने बताया कि 26 अगस्त को सरकार आपदा में मदद करने वाले सुरक्षा बलों के लिए फेयरवेल आयोजित करेगी ताकि उनके प्रति प्रेम और आभार प्रकट किया जा सके।
मुख्यमंत्री ने इससे पहले कहा कि शेख मोहम्मद बिन जायेद अल नाहयान ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को टेलीफोन करके मदद की पेशकश की थी। मुख्यमंत्री विजयन के अलावा केरल के वित्त मंत्री थॉमस इसाक ने बुधवार को कहा कि वह केंद्र सरकार की ओर से बाढ़ पीड़ितों के लिए संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) की वित्तीय सहायता पर रोक लगाने को लेकर अचंभे में हैं जबकि सरकार ने खुद अभी तक केवल 600 करोड़ रुपये की ही सहायता दी है।
केरल में राहत और पुनर्वास कार्य के लिए अबू धावी के क्राउन प्रिंस द्वारा की गई 10 करोड़ डॉलर (करीब 700 करोड़ रुपये) की सहायता राशि देने की पेशकश को केंद्र सरकार ने स्वीकार नहीं किया है। यूपीए सरकार द्वारा 2004 में बनाई गई एक पॉलिसी के तहत केंद्र सरकार आपदा के समय दूसरे देशों से आर्थिक मदद नहीं लेती है।
2016 National Disaster Management Policy says, 'if govt of another country voluntarily offers assistance as a goodwill gesture in solidarity with the disaster victims,the central govt may accept the offer'. Right now only talk is happening, let us see what happens: Kerala CM pic.twitter.com/iPA6dcyeaY
— ANI (@ANI) August 22, 2018