यूपी ने एक दिन में 9.26 करोड़ पौधरोपण कर रचा इतिहास
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के आह्वान पर प्रदेश ने एक दिन में सर्वाधिक 9.26 करोड़ पौधरोपण कर इतिहास रचा है। इससे पूर्व भी बसपा और सपा सरकार में ऐसे अभियान चलाए गए थे, लेकिन सवा नौ करोड़ पौधे कभी नहीं लगाए गए थे। सरकार की ओर से आम जनमानस को जोड़ने के उद्देश्य से ‘सेल्फी विद ग्रीन यूपी’ अभियान शुरू किया गया था।
स्वतंत्रता दिवस पर नौ करोड़ पौधरोपण के लक्ष्य को सफलतापूर्वक पूरा करने पर मुख्यमंत्री ने सभी विभागों और प्रदेश की जनता को उसकी सक्रिय भागीदारी के लिए बधाई दी है। उन्होंने कहा कि इतने बड़े पैमाने पर किया गया पौधरोपण पर्यावरण के प्रति सजगता का संकेत है।
राज्य सरकार पौधरोपण और पर्यावरण की सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध है। स्वतंत्रता दिवस पर पौधरोपण अभियान के तहत अन्तिम सूचना मिलने तक प्रदेश में 9.26 करोड़ पौधे रोपित किए जा चुके थे। राज्यपाल राम नाईक ने रिवर फ्रण्ट, गोमतीनगर, लखनऊ और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कुसमही वन, गोरखपुर में पौधरोपण किया।
प्रदेश के सभी 75 जनपदों में भारत सरकार और प्रदेश सरकार के मंत्री, सांसद, विधायक, जनप्रतिनिधि, विद्यार्थियों, महिलाओं, युवाओं, सेना के जवानों, दिव्यांगों, निराश्रित और अनाथ बच्चों सहित समाज के वंचित वर्ग के सदस्यों, कृषकों, औद्योगिक इकाइयों, रेजीडेन्ट वेलफेयर सोसाइटी, स्वयंसेवी संगठनों, ईको क्लब, लायन व रोटरी क्लब, नेहरू युवा केन्द्र के सदस्य, एनएसएस के विद्यार्थियों सहित समाज के विभिन्न वर्गों द्वारा भी पौध रोपण किया गया।
प्रधान मुख्य वन संरक्षक एसके उपाध्याय ने कहा कि प्रदेश सरकार के ‘सेल्फी विद ग्रीन यूपी’ अभियान के तहत पौधरोपण करने वाले व्यक्तियों व संस्थाओं द्वारा रोपित पौध के साथ सेल्फी खींचकर भेजने के लिए अत्यन्त उत्साह प्रदर्शित किया गया। अभियान में प्रविष्टि भेजने की अन्तिम तिथि 20 अगस्त है। प्रदेश और जिला स्तर पर सर्वात्कृष्ट प्रविष्टियों को प्रदेश सरकार द्वारा पुरस्कृत किया जाएगा।
विशेष पौधरोपण अभियान में गंगा हरीतिमा अभियान के तहत वृक्ष भण्डारा एवं वृक्षदान से प्राप्त पौधे रोपित किये गये। विभिन्न भौगोलिक क्षेत्रों में मृदा और कृषि जलवायु क्षेत्र के अनुसार यथासम्भव स्थानीय प्रजातियों का रोपण किया गया। रोपित की गयी मुख्य प्रजातियों में पाकड़, पीपल, बरगद, जामुन, नीम, आंवला, कदम्ब, कंजी, गूलर, शीशम, नींबू के पौधे शामिल हैं।