राजस्थान: भीलवाड़ा के बाद अब हनुमानगढ़ में तनाव, वीएचपी नेता पर हमले के बाद फिर गरमाया माहौल
राजस्थान के हनुमानगढ़ जिले के नोहर में उस वक्त स्थिति तनावपूर्ण हो गई जब नोहर के वीएचपी नेता सतवीर सहारण को कुछ युवकों ने गंभीर रूप से घायल कर दिया। घायल सतवीर को प्राथमिक उपचार के बाद जिला अस्पताल रेफर कर दिया गया है।
इस घटना के बाद विश्व हिंदू परिषद के कार्यकर्ताओं में आक्रोश फैल गया। आक्रोश के चलते लोगों ने चक्का जाम कर दिया। उनका कहना है कि आज जब नोहर में एक महिला और व्यक्ति ने सतवीर से कहा कि मंदिर के सामने कुछ युवक बैठे रहते हैं और अक्सर छेड़छाड़ करते है। इस पर सतवीर उन युवकों से पूछताछ करने पहुंचा। बातचीत के दौरान दोनों के बीच झड़प शुरू हुई और युवकों ने सतवीर पर हमला कर दिया। चोट के कारण सतवीर गंभीर रूप से घायल हो गया। इस घटना के बाद बजरंग दल विश्व हिंदू परिषद के कार्यकर्ताओं ने नोहर रावतसर मार्ग पर जाम लगा दिया आक्रोशित लोगों ने प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की।
जानकारी के अनुसार, शाम को नोहर के रामदेव मंदिर के पास कुछ युवकों द्वारा लड़कियों से छेड़छाड़ करने पर विश्व हिंदू परिषद के नेता द्वारा रोकने पर 7 से 8 युवकों ने उन पर जानलेवा हमला बोल दिया। पुलिस ने दो युवकों अदरिस और आमीन को गिरफ्तार किया है।
पांच लोगों को हिरासत में लिया गया है, जबकि इंटरनेट बंद कर दिया गया है। इलाके में बड़ी संख्या में पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया है और पुलिस और जिला प्रशासन के अधिकारी लोगों पर कड़ी नजर रखे हुए हैं।
राजस्थान में नोहर शहर के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सुरेश जांगीर ने मामले की जानकारी देते हुए बताया कि मंगलवार को दो समूहों के बीच झड़प हुई, जिसमें सतवीर नाम का एक शख्स घायल हो गया जिसे अस्पताल में भर्ती कराया गया है। वहीं, दो और लोग भी घायल हुए हैं। उन्होंने बताया कि फिलहाल स्थिति नियंत्रण में है।
इस मामले को लेकर पुलिस ने दो लोगों को हिरासत में लिया है, जिनके नाम आदरीस और आमीन है। वहीं, उन 27 लोगों के खिलाफ भी मामला दर्ज किया गया है, जो विरोध करते हुए सड़कों पर उतर आए थे और रोड ब्लॉकर कर दी थी।
इससे पहले भीलवाड़ा में मंगलवार की रात एक 22 वर्षीय युवक की कथित तौर पर दूसरे समुदाय के लोगों ने हत्या कर दी, जिसके बाद भाजपा, विहिप और हिंदू जागरण मंच के सदस्यों ने जिले में बंद का आह्वान किया।
बुधवार को, राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अधिकारियों को राज्य के सांप्रदायिक रूप से संवेदनशील क्षेत्रों में विशेष निगरानी रखने और असामाजिक लोगों के खिलाफ "सख्त और निष्पक्ष" कार्रवाई करने का निर्देश दिया।
भारत में तनाव और अशांति का माहौल होने का दावा करते हुए उन्होंने दावा किया कि रामनवमी पर सात राज्यों में एक समान पैटर्न के बाद दंगे हुए। उन्होंने कहा कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से हिंसा के कृत्यों के पीछे "गहरी साजिश" की केंद्रीय स्तर पर जांच करने का अनुरोध किया गया है।
उन्होंने कहा कि सभी जिलों और संभागों में पुलिस और प्रशासनिक अधिकारी सतर्क रहें और अपराध को प्रभावी ढंग से नियंत्रित करने के लिए काम करें। उन्होंने कहा कि अधिकारियों को राज्य में शांति और सद्भाव बनाए रखने के लिए प्रभावी निगरानी सुनिश्चित करनी चाहिए।
गहलोत ने कहा कि यदि आवश्यक हो तो राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम, राजस्थान असामाजिक गतिविधि रोकथाम अधिनियम और गुंडा अधिनियम के तहत भी कार्रवाई की जाए।
गौरतलब है कि जोधपुर में ईद से कुछ घंटे पहले हिंसक झड़प हुई, जिसके बाद अधिकारियों ने मोबाइल इंटरनेट सेवाओं को निलंबित कर दिया और शहर के 10 पुलिस थाना क्षेत्रों में कर्फ्यू लगा दिया था।