चीन में कोरोना वायरस का कहर जारी, एक दिन में 242 मौतें
चीन में कोरोना वायरस का प्रकोप जारी है। इस जानलेवा बीमारी के कारण होने वाली मौत का आंकड़ा लगातार बढ़ता जा रहा है। चीन में अब तक कोरोना वायरस की वजह से 1300 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है, केवल बुधवार को ही चीन में 242 लोगों की मौत हो गई। वहीं लगभग 15, 000 नए मामले सामने आए। इसके अलावा, कोरोना वायरस का असर बार्सिलोना में होने वाली मोबाइल वर्ल्ड कांग्रेस पर भी पड़ा है। 24 से 27 फरवरी तक होने वाले इस आयोजन को रद्द कर दिया गया है।
समाचार एजेंसी एएफपी के मुताबिक, हुबेई के स्वास्थ्य आयोग द्वारा दिए गए सूचना के अनुसार कम से कम 1,355 लोग अब देश भर में मर चुके हैं और लगभग 60,000 संक्रमित हो गए हैं। अपने दैनिक रिपोर्ट में, हुबेई के स्वास्थ्य आयोग ने केंद्रीय प्रांत में 14,840 नए मामलों की पुष्टि की। हुबेई के वुहान शहर से इस वायरस का प्रसार हुआ है।
मरीजों की संख्या में वृद्धि क्यों?
स्थानीय अधिकारियों ने बताया कि मरीजों की संख्या में इतनी अधिक वृद्धि इसलिए हुई है क्योंकि उन्होंने कोरोना वायरस के मामलों की पहचान करने के लिए प्रक्रिया में बदलाव किया है। हुबेई स्वास्थ्य आयोग ने एक बयान में कहा कि अब उसके आधिकारिक टोल में लक्षण दिखने वाले मरीज भी शामिल होंगे। हुबेई स्वास्थ्य आयोग ने कहा कि इस परिवर्तन से मरीजों को जितनी जल्दी हो सके उपचार मिल सकेगा।
डब्ल्यूएचओ ने क्या कहा
विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने कोरोना वायरस को अंतरराष्ट्रीय जन-स्वास्थ्य आपातकाल घोषित कर दिया है। विश्व स्वास्थ्य संगठन के महानिदेशक ट्रेडोस अदनोम ने कहा है कि न्यू कोरोना वायरस से ग्रस्त निमोनिया को डब्ल्यूएचओ ने सीओवीआईडी-9 नाम दिया है। अदनोम ने कहा कि इसका पहला टीका 18 महीनों के भीतर तैयार कर लिया जाएगा।
चीन में 31 दिसंबर को सबसे पहले इस विषाणु की पहचान हुई थी
पहली बार, चीन में 31 दिसंबर को सबसे पहले इस विषाणु की पहचान हुई थी। तब से इससे 1300 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है, 42 हजार से ज्यादा लोग इससे संक्रमित हैं और यह 25 देशों में फैल चुका है। संगोष्ठी में भाग लेने वाले वैज्ञानिक इस विषाणु की उत्पत्ति पर भी विमर्श करेंगे। माना जा रहा है कि विषाणु की उत्पत्ति चमगादड़ों में हुई होगी और यह मनुष्य में सांपों और पैंगोलिन जैसे जीवों के जरिए फैला होगा। ऑस्ट्रेलिया, चीन, फ्रांस, जर्मनी और अमेरिका की कई कंपनियां और संस्थान कोरोना वायरस का टीका विकसित करने का प्रयास कर रहे हैं।