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16 November 2023

चंद्रयान-3 पर इसरो का बड़ा अपडेट, प्रक्षेपण यान का एक हिस्सा पृथ्वी के वायुमंडल में लौटा

इस साल 14 जुलाई को चंद्रयान-3 अंतरिक्ष यान को निर्धारित कक्षा में सफलतापूर्वक स्थापित करने वाले एलवीएम3 एम4 प्रक्षेपण यान का ‘क्रायोजेनिक’ ऊपरी हिस्सा बुधवार को पृथ्वी के वायुमंडल में अनियंत्रित रूप से पुनः प्रवेश कर गया। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने यह जानकारी दी।

इसरो ने एक बयान में कहा, ‘‘संभावित प्रभाव बिंदु का अनुमान उत्तरी प्रशांत महासागर के ऊपर लगाया गया है। अंतिम ‘ग्राउंड ट्रैक’ (किसी ग्रह की सतह पर किसी विमान या उपग्रह के प्रक्षेप पथ के ठीक नीचे का पथ) भारत के ऊपर से नहीं गुजरा।’’

इसरो ने बताया कि यह ‘रॉकेट बॉडी’ एलवीएम-3 एम4 प्रक्षेपण यान का हिस्सा थी। यह अंतरराष्ट्रीय समयानुसार दोपहर दो बजकर 42 मिनट के आसपास पृथ्वी के वायुमंडल में पुनः प्रवेश कर गया। इसरो ने कहा कि रॉकेट बॉडी का पुन: प्रवेश इसके प्रक्षेपण के 124 दिनों के भीतर हुआ। 

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यह कहा गया था कि चंद्रयान -3 इंजेक्शन के बाद, संयुक्त राष्ट्र और आईएडीसी द्वारा निर्धारित अंतरिक्ष मलबे शमन दिशानिर्देशों के अनुसार आकस्मिक विस्फोटों के जोखिम को कम करने के लिए सभी अवशिष्ट प्रणोदक और ऊर्जा स्रोतों को हटाने के लिए ऊपरी चरण को भी 'निष्क्रिय' किया गया था।

इसरो ने कहा, ''अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर स्वीकृत दिशानिर्देशों के अनुपालन में इस रॉकेट निकाय का निष्क्रियता और मिशन के बाद निपटान एक बार फिर बाहरी अंतरिक्ष गतिविधियों की दीर्घकालिक स्थिरता को बनाए रखने के लिए भारत की प्रतिबद्धता की पुष्टि करता है।''

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TAGS: Indian space research organisation ISRO, Chandrayan 3, earth atmosphere
OUTLOOK 16 November, 2023
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