लिव इन में रहने के बाद 70 साल के बुजुर्ग जोड़े ने की शादी
नवोदय टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक, पहाड़ी कोरवा जनजाति के 75 वर्षीय रतिया राम ने 70 वर्षीय जीमनाबरी के साथ विवाह किया। वैदिक रीति रिवाज के साथ संपन्न हुए इस विवाह में जिला पंचायत उपाध्यक्ष प्रबल प्रताप सिंह जूदेव, जनपद अध्यक्ष प्रदीप नरायण सिंह सहित बड़ी संख्या में जनप्रतिनिधि व सैकड़ों ग्रामीण शामिल हुए।
बता दें कि बगीचा विकासखंड के ग्राम पंचायत बगडोल के आश्रित ग्राम झगरपुर निवासी रतियाराम की पत्नी का 20 साल पहले निधन हो गया था। उनकी दो बेटी हैं, जिनकी शादी हो गई है और वह दूसरे गांव में रहते हैं। पत्नी की मौत के बाद रतिया अकेले रहता था। एक माह पहले वह बेटी के गांव झिक्की पहुंचा, जहां उसकी मुलाकात जिमनीबरी बाई (70) से हुई। वह भी अकेली है, उसके पति की भी 20 साल पहले मौत हो गई थी और वह ग्राम झिक्की में रिश्तेदार के यहां रह रही थी। मुलाकात के बाद दोनों ने एक दूसरे का अकेलापन दूर करने का निर्णय लिया।
दोनों ही बुजुर्गों का जीवन वृद्धा पेंशन के भरोसे चल रहा है। एक माह की दोस्ती प्रेम में बदल गई, जिसके बाद एक सप्ताह पहले रतिया राम ने जिमनीबरी को विवाह का प्रस्ताव दिया, जिसे उसने स्वीकार कर लिया। एक सप्ताह पहले दोनों ने शेष जीवन साथ-साथ बिताने का निर्णय लिया, जिसके बाद ग्राम झिक्की से दोनों बगडोल झगरपुर में रहने लगे। बुधवार को दोनों ने सरपंच ललित नागेश से मुलाकात की और विवाह के लिए मदद मांगी। सरपंच के सहयोग से दोनों का विवाह धूमधाम से हुआ। इस वाकये के बाद गांव में हर तरफ इस जोड़े के प्रेम की चर्चा है।
जिमनीबरी रतियाराम से 5 साल छोटी है, लेकिन शारीरिक दृष्टिकोण से अधिक स्वस्थ है। रतियाराम ने कहा कि बेटियों के विवाह के बाद वह 20 सालों से अकेला जीवन गुजार रहा है। उन्होंने बताया कि जिमनाबरी के एक भी दांत नहीं हैं, लेकिन वह उसकी खुशी के लिए मजदूरी करने जाएगा और खेती बाड़ी करके बचे जीवन में अधिक से अधिक खुशी देने का प्रयास करेगा। वहीं, दुल्हन के जोड़े में एक बार फिर सजी जिमनीबरी ने कहा कि जीवन के इस मोड़ में उसे साथ मिला है, जिससे वह उत्साहित है और होने वाले पति के लिए वह हर कुछ करने को तैयार है।