Advertisement
15 January 2021

आंदोलकारी किसानों से डरी हरियाणा सरकार, गणतंत्र दिवस कार्यक्रमों में किया बड़ा बदलाव

कृषि कानूनों के विरोध में आंदोलनरत किसानों से डरी हरियाणा की भाजपा-जजपा सरकार ने 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस समारोहों में भी बड़ा बदलाव किया है। विधानसभा स्पीकर से लेकर कई मंत्रियाें के कार्यक्रम स्थल बदल दिए गए हैं। हालांकि राष्ट्रीय ध्वाजारोहण और परेड सलामी के लिए मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर का पानीपत में और उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला का अंबाला में कार्यक्रम है पर किसानों के विरोध से डरी सरकार ने साफ कर दिया है कि किसी कार्यक्रम में मुख्यअतिथि के न पहुंचने की सूरत में वहां के संबंधित उपायुक्त ध्वजारोहण और परेड सलामी की रस्म निभाएंगे। पानीपत के किसानों ने मुख्यमंत्री के स्वतंत्रता दिवस कार्यक्रम का विरोध करने का अल्टीमेटम िदया है वहीं दुष्यंत चौटाला के विरोध में भी अंबाला के आंदोलकारी किसान लामबंद हैं। सरकार को डर है कि कहीं 26 जनवरी की ट्रैक्टर परेड के लिए भारी संख्या में दिल्ली के लिए जीटी रोड से कूच करने वाले पंजाब व हरियाणा के किसान राज्य में आयोजित गणतंत्र दिवस समारोहों का रुख सकते हैं। ऐसे में कई मंत्रियों के आग्रह पर ध्वजारोहण कार्यक्रमों में फेरबदल किया गया है।

  10 जनवरी को करनाल के कैमला में भाजपा की किसान महापंचायत रैली में अांदोलकारी किसानों के बवाल के बाद रद्द करनी पड़ी। रैली स्थल पर पहुंचने के बावजूद मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर का हेलीकॉप्टर इसलिए नहीं उतर सका कि िकसानों ने हेलीपैड खाेद दिया था,रैली में भाग लिए बगैर ही मुख्यमंत्री को वापस चंडीगढ़ लौटना पड़ा। इसके बाद से गृहमंत्री अमित शाह के निर्देश पर हरियाणा भाजपा ने जहां अपने तमाम सावर्जनिक कार्यक्रम रुद्द कर दिए हैं वहीं 9 जनवरी को जारी स्वतंत्रता दिवस के कार्यक्रमों की सूची में भी सरकार ने सुरक्षा को देखते हुए बदलाव कर दिया है। विधानसभा अध्यक्ष ज्ञानंचद गुप्ता को पहले यमुनानगर मंे ध्वजारोहण के लिए जाना था पर अब वे कुरुक्षेत्र जाएंगे। बिजली मंत्री रणजीत सिंह भिवानी की बजाय अब यमुनानगर जाएंगे। सहकारिता मंत्री बनवारी लाल नूंह की बजाय करनाल में राष्ट्रीय ध्वज फहराएंगे। पुरातत्व-संग्रहालय एवं श्रम रोजगार राज्यमंत्री अनूप धानक को सिरसा की बजाय पलवल में भेजा जा रहा है। खेल राज्यमंत्री संदीप सिंह पलवल की बजाय फरीदाबाद में राष्ट्रीय ध्वज फहराएंगे। उक्त मंत्रियों के साथ ही मंडल आयुक्तों और जिला उपायुक्तों को भी निर्देश हैं कि किसी मंत्री के कार्यक्रम में न पहुंचने की सूरत मेंं वे गणतंत्र दिवस कार्यक्रम में ध्वजारोहण और परेड की सलामी के साथ कायक्रम की अध्यक्षता करेंगे।

  गणतंत्र दिवस पर सुरक्षा व्यवस्था को लेकर हालांकि मुख्यमंत्री ने दावा किया है कि गणतंत्र दिवस की भावना से आने वालों का समारोह में स्वागत है पर कानून-व्यवस्था बिगाड़ने वालों को नहीं बक्शा जाएगा। अंदरखाते सरकार आंदोलनकारी किसानों पर सख्ती करके उनकी नाराजगी मोल नहीं लेना चाहती,क्यांेकि अगले दो महीने के भीतर राज्य में पंचायतों के चुनाव हैं। करनाल के कैमला की घटना के अारोपी 900 से अधिक किसानांे पर पुलिस ने मामले दर्ज किए हैं इससे पहले पिपली में किसानों पर पुलिस के लाटीचार्ज की घटना से 80 से अधिक किसानों पर हत्या के प्रयास के मामले दर्ज हैं। आंदोलनकारियों पर दबाव बनाए रखने के लिए दर्ज मामले चुनावों के समय सियासी दबाव के चलते रद्द भी किए जाते रहे हैं।

अब आप हिंदी आउटलुक अपने मोबाइल पर भी पढ़ सकते हैं। डाउनलोड करें आउटलुक हिंदी एप गूगल प्ले स्टोर या एपल स्टोरसे
TAGS: किसान आंदोलन, कृषि कानून, आंदोलकारी किसान, हरियाणा सरकार, गणतंत्र दिवस, farmers, Haryana government, Republic Day programs
OUTLOOK 15 January, 2021
Advertisement