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04 July 2024

चंपई सोरेन: नाटकीय घटनाक्रम के तहत बने थे मुख्यमंत्री, उसी अंदाज में हुई विदाई

झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) के नेता चंपई सोरेन का राज्य का मुख्यमंत्री पद छोड़ना उतना ही नाटकीय रहा, जितना पांच महीने पहले फरवरी में हेमंत सोरेन के इस्तीफे के बाद इस पद पर उनका आसीन होना रहा था।

झारखंड में सरायकेला-खरसांवा जिले के जिलिंगगोड़ा गांव में कभी अपने पिता के साथ खेतों में हल चलाने वाले चंपई सोरेन राजनीति में एक लंबा सफर तय कर दो फरवरी को राज्य के मुख्यमंत्री पद तक पहुंचे थे। इससे पहले उनके पूर्ववर्ती हेमंत सोरेन ने धनशोधन मामले में ईडी द्वारा गिरफ्तार किए जाने के कुछ ही देर पहले मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था।

हेमंत को उच्च न्यायालय से जमानत मिलने के बाद 28 जून को जेल से रिहा कर दिया गया था और बुधवार को उन्हें पार्टी के विधायक दल का नेता चुना गया। चंपई सोरेन ने राज्य के राज्यपाल को अपना इस्तीफा सौंप दिया, जिसके साथ ही हेमंत के तीसरी बार मुख्यमंत्री बनने का रास्ता साफ हो गया। बृहस्पतिवार को हेमंत सोरेन ने मुख्यमंत्री के तौर पर शपथ ली।

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मुख्यमंत्री के रूप में चंपई सोरेन के पांच महीने के छोटे कार्यकाल के दौरान 21 से 50 वर्ष आयु वर्ग की महिलाओं के लिए वित्तीय सहायता योजनाएं, घरेलू उपभोक्ताओं को 200 यूनिट मुफ्त बिजली और 33 लाख लोगों के लिए स्वास्थ्य देखभाल राशि को बढ़ाकर 15 लाख रुपये करने जैसी योजनाओं ने आकार लिया।

अलग राज्य के लिए 1990 के दशक में चले लंबे आंदोलन में अपने योगदान को लेकर चंपई (67) ‘झारखंड टाइगर’ के नाम से भी जाने जाते हैं। बिहार के दक्षिणी हिस्से को विभाजित कर वर्ष 2000 में झारखंड का गठन किया गया था। सरकारी स्कूल से मैट्रिक की पढ़ाई करने के बाद उन्होंने 1991 में अविभाजित बिहार के सरायकेला सीट से उपचुनाव में निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर जीत हासिल कर अपने राजनीतिक जीवन की शुरुआत की।

चार साल बाद उन्होंने झामुमो के टिकट पर विधानसभा चुनाव लड़ा और भाजपा के पंचू तुडू को हराया। साल 2000 में हुए राज्य के पहले विधानसभा चुनाव में भाजपा के अनंत राम तुडू ने इसी सीट पर उन्हें शिकस्त दी। उन्होंने 2005 में, भाजपा उम्मीदवार को 880 मतों के अंतर से शिकस्त देकर इस सीट पर फिर से अपना कब्जा जमा लिया। चंपई ने 2009, 2014 और 2019 के चुनावों में भी जीत हासिल की।

वह सितंबर 2010 से जनवरी 2013 के बीच अर्जुन मुंडा नीत भाजपा-झामुमो गठबंधन सरकार में कैबिनेट मंत्री रहे थे। हेमंत सोरेन ने 2019 में राज्य में जब दूसरी बार सरकार बनाई, तब चंपई को खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति तथा परिवहन मंत्री बनाया गया। चंपई सोरेन की शादी कम उम्र में हो गई थी और उनके चार बेटे व तीन बेटियां हैं।

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TAGS: Champai Soren, Hemant Soren, Jharkhand political developments, JMM, BJP, New CM of jharkhand
OUTLOOK 04 July, 2024
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