तिहाड़ जेल में मनीष सिसोदिया के साथ 'दुर्व्यवहार' का आरोप, दिल्ली कोर्ट ने दिया ये आदेश
तिहाड़ जेल में बंद मनीष सिसोदिया की कानूनी टीम द्वारा सुरक्षाकर्मियों पर अदालत परिसर के अंदर उनके साथ दुर्व्यवहार करने के आरोप के साथ एक आवेदन दायर किया गया था, जिसके संबंध में अब राउज एवेन्यू कोर्ट ने गुरुवार को अदालत परिसर के 23 मई के सीसीटीवी फुटेज को संरक्षित करने का आदेश दिया है।
दिल्ली पुलिस ने भी गुरुवार को अदालत में एक अर्जी दायर कर सिसोदिया को केवल वीडियो-कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पेश करने की अनुमति मांगी थी। पुलिस का कहना था कि आप समर्थकों और मीडियाकर्मियों के जमा होने से उन्हें शारीरिक रूप से पेश करने से 'अफरा-तफरी' होती है। इसके बाद विशेष न्यायाधीश एमके नागपाल ने स्पष्ट किया कि जब तक अर्जी पर फैसला नहीं हो जाता सिसोदिया को वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए ही अदालत में पेश किया जाएगा।
बता दें कि आज भी सिसोदिया को कोर्ट के लॉकअप से वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए कोर्ट में पेश किया गया। गौरतलब है कि ईडी ने दिल्ली आबकारी नीति मामले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में सिसोदिया को नौ मार्च को गिरफ्तार किया था। इससे पहले उन्हें सीबीआई ने 26 फरवरी को गिरफ्तार किया था। वह इस मामले में गिरफ्तार किए गए 29वें आरोपी हैं। सीबीआई इस मामले में चार्जशीट पहले ही दाखिल कर चुकी है। सीबीआई मामले में उनकी जमानत पिछले हफ्ते उच्च न्यायालय ने खारिज कर दी थी।
हालांकि, मनी लॉन्ड्रिंग मामले में उनकी जमानत हाई कोर्ट में लंबित है। इससे पहले निचली अदालत ने धनशोधन के एक मामले में सिसोदिया की जमानत याचिका खारिज कर दी थी। राउज एवेन्यू कोर्ट ने जब उनकी जमानत खारिज की तो कहा था, "आम जनता और समाज पर बड़े पैमाने पर गंभीर प्रभाव वाले आर्थिक अपराधों के इस मामले में जांच के दौरान एकत्र किए गए सबूत उक्त अपराध में उनकी संलिप्तता की बात करते हैं।"
अदालत ने साफतौर पर कहा कि साउथ लॉबी से प्राप्त घूस या रिश्वत की राशि का कुछ हिस्सा गोवा में आप के चुनाव अभियान और कुछ नकद भुगतान के संबंध में खर्च या उपयोग किया गया था, जांच में ऐसे कुछ सबूत मिले हैं।।मामले में यह आरोप है कि हवाला चैनलों को सभी खर्चों को वहन करने के लिए गोवा भेजा गया था और यहां तक कि हवाला चैनलों के माध्यम से हस्तांतरित की गई नकद राशि के लिए कवर-अप के रूप में कुछ नकली चालान भी बनाए गए थे।
यह कहा गया था कि सारी पृष्ठभूमि को देखते हुए, अभियोजन अभी भी मनी लॉन्ड्रिंग के कथित अपराध में आवेदक की संलिप्तता के लिए एक वास्तविक और प्रथम दृष्टया मामला दिखाने में सक्षम रहा है। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने 9 मार्च को तिहाड़ जेल में घंटों पूछताछ के बाद शराब नीति मामले में मनीष सिसोदिया को गिरफ्तार किया था। सीबीआई द्वारा उन्हें राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली (जीएनसीटीडी) की आबकारी नीति के निर्माण और उसके कार्यान्वयन में मिली कथित अनियमितताओं के संबंध में एक मामले की जांच में गिरफ्तार किया गया था।