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06 July 2019

कर्नाटक संकट: कांग्रेस-जेडीएस के 13 विधायकों ने दिया इस्‍तीफा, भाजपा ने कहा- हम सरकार बनाने को तैयार

File Photo

कर्नाटक में जेडीएस और कांग्रेस की गठबंधन सरकार गंभीर संकट में घिर गई है। एक तरफ जेडीएस और कांग्रेस के 13 विधायकों ने इस्तीफा दे दिया है, वहीं दूसरी तरफ बीजेपी सूबे में सरकार बनाने के लिए तैयार दिख रही है। राजभवन सियासी हलचल का केंद्र बन गया है। स्पीकर के यहां अपने-अपने इस्तीफे सौंपने के कुछ घंटे बाद सभी 13 बागी विधायक राजभवन पहुंचे और राज्यपाल वजुभाई वाला से मुलाकात की। रिपोर्ट के मुताबिक, कांग्रेस विधायक पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया को मुख्यमंत्री बनाने का भी समर्थन कर रहे हैं। कर्नाटक कांग्रेस प्रभारी केसी वेणुगोपाल ने बेंगलुरू पहुंचकर सिद्धारमैया से मुलाकात की।

अमेरिका में हैं सीएम कुमारस्वामी

गठबंधन सरकार पर खतरा ऐसे वक्त मंडरा रहा है जब मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी अमेरिका में हैं और कर्नाटक कांग्रेस अध्यक्ष दिनेश कुंडु राव ब्रिटेन में हैं जो अब रविवार को लौट रहे हैं। इस्तीफा देने वालों में बीसी पाटिल, एच विश्वनाथ, नारायण गौड़ा, शिवराम हेब्बार, महेश कुमारथल्ली, गोपालैया, रमेश जरकोहोली, प्रताप गौड़ा पाटिल के नाम शामिल हैं। वहीं, इस्तीफे के वक्त विधानसभा अध्यक्ष रमेश कुमार अपने कार्यालय में मौजूद नहीं थे। इस पर उन्होंने कहा, 'मुझे अपनी बेटी को एक जगह ले जाना था इसलिए मैं घर चला गया। कल छुट्टी है इसलिए मैं सोमवार को उनसे मिलूंगा।'

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'मंगलवार को फैसला लेंगे स्पीकर'

वहीं, इस्तीफे के बाद जेडी(एस) के एच विश्वनाथ ने कहा कि हमने स्वेच्छा से इस्तीफा दिया है। किसी तरह के ‘ऑपरेशन कमल’ का हम पर प्रभाव नहीं है। उन्होंने कहा कि विधानसभा स्पीकर ने हमें भरोसा दिलाया है कि वे मंगलवार तक इस पर फैसला लेंगे। इस सरकार ने सबको भरोसे में नहीं लिया। इसलिए हमने आज स्वेच्छा से इस्तीफा दिया। हम राज्यपाल से भी मिले। हमने स्पीकर से मांग की है कि वे हमारा इस्तीफा स्वीकार करें। गठबंधन सरकार लोगों की अपेक्षाओं पर खरी नहीं उतरी।

कांग्रेस ने भाजपा पर लगाया हॉर्स ट्रेडिंग का आरोप

कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि देश में हॉर्स ट्रेडिंग का नया सिंबल सामने आया है। मोदी (MODI - Mischievously Orchestrated Defections in India)

वहीं, कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि बहुत से विधायक जो कांग्रेस छोड़ना चाहते हैं वो लंबे समय से पार्टी से जुड़े रहे हैं। मुझे विश्वास है कि वे हमारे साथ जुड़े रहेंगे और पार्टी का समर्थन करेंगे। मैं बेंगलुरू जा रहा हूं। मैं वहां जमीनी हकीकत देखने के बाद आगे टिप्पणी करूंगा।

भाजपा का इससे कोई लेना-देना नहीं: येदियुरप्पा

वहीं, कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री और भाजपा नेता बीएस येदियुरप्पा ने कहा कि विरोधी पार्टियों में जो कुछ भी हो रहा है उससे मेरा या मेरी पार्टी का कोई लेना-देना नहीं है। मैंने मीडिया से सुना की कांग्रेस-जेडीएस के विधायकों ने इस्तीफा दे दिया है। भाजपा का इस मुद्दे से कोई लेना-देना नहीं है। हम राजनीतिक घटनाक्रम को करीब से देख रहे हैं। एक बात मैं कह सकता हूं कि लोग चुनाव के लिए तैयार नहीं हैं। चुनाव राज्य के पैसों पर बोझ की तरह हैं। अगर ऐसी स्थिति बनती है तो हम सरकार बनाने के संवैधानिक तरीकों को देखेंगे।

मैं कुछ नहीं बोलूंगा: एचडी देवेगौड़ा

पूर्व प्रधानमंत्री और जेडीएस नेता एचडी देवेगौड़ा ने कहा कि मैं कोई प्रतिक्रिया नहीं दूंगा। मैंने किसी से कुछ भी नहीं बोला है। मैं कॉरपोरेशन चुनाव के लिए बस अपनी पार्टी के कार्यकर्ताओं की मीटिंग करने जा रहा हूं।

भाजपा को राज्यपाल के बुलावे का इंतजार

वहीं, सरकार बनाने के सवाल पर भाजपा के सदानंद गौड़ा ने कहा कि राज्यपाल सर्वोच्च अथॉरिटी हैं। अगर वह सरकार बनाने के लिए बुलाते हैं तो हम जरूर जाएंगे। हम सबसे बड़ी पार्टी हैं। हमारे पास 105 विधायक हैं।सीएम चेहरे के सवाल पर गौड़ा ने साफ कहा कि ऐसी स्थिति बनती है तो निश्चित ही येदियुरप्पा सूबे के मुख्यमंत्री बनेंगे। 

हम सबके लिए चौंकाने वाला: डीके शिवकुमार

विधानसभा स्पीकर कार्यालय में विधायकों का इस्तीफा पत्र फाड़ने के आरोप पर कांग्रेस नेता डीके शिवकुमार ने कहा कि मुझे क्यों नहीं ऐसा करना चाहिए? अगर वो मुझे जेल भेजना चाहते हैं तो उन्हें शिकायत करने दीजिए। मैं तैयार हूं। मैंने एक बड़ा रिस्क लिया है।

उन्होंने कहा कि विधायक छोटी कहानियां बता रहे हैं। इस्तीफा देने की ये वजहें नहीं हो सकती। यह हम सबके लिए चौंकाने वाला है।

बीजेपी ने बोला हमला

कर्नाटक इस घटनाक्रम पर बीजेपी ने भी हमला बोला है। बीजेपी प्रवक्‍ता जीवीएल नरसिंहा राव ने कहा कि कांग्रेस-जेडीएस गठबंधन को कर्नाटक की जनता ने खारिज कर दिया है। लोकसभा चुनाव में गठबंधन के बाद भी बीजेपी ने शानदार जीत दर्ज की थी। यह स्‍पष्‍ट रूप से जनता का मूड दर्शाता है। विधायक निश्चित रूप से गठबंधन के खिलाफ जनता के गुस्‍से का सामना कर रहे थे।

यह है बहुमत का गणित

224 सदस्यों वाली कर्नाटक विधानसभा में बहुमत के लिए 113 विधायकों का समर्थन होना जरूरी है। अभी कांग्रेस-जेडीएस के कुल 116 और बीजेपी के 104 सदस्य हैं। गठबंधन सरकार को बीएसपी के एक विधायक का समर्थन भी हासिल है। निर्दलीय विधायक आर शंकर और एच नागेश के समर्थन वापस लेने के बाद अभी गठबंधन के पास बहुमत से 4 ज्यादा यानी 117 विधायकों का समर्थन है। 

बीजेपी के लिए क्या है बहुमत का गणित

विधानसभा में विधायकों की कुल संख्या अगर घटकर 207 तक आ जाती है तो बीजेपी सरकार बनाने की स्थिति में आ जाएगी। बीजेपी के 104 विधायक हैं और वह बहुमत हासिल कर लेगी। हालांकि इसके लिए अभी कांग्रेस और जेडीएस के करीब 16 विधायकों के इस्तीफे होना जरूरी है।

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TAGS: Karnataka government, 5 Congress, 3 JD-MLAs
OUTLOOK 06 July, 2019
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