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18 December 2017

गुजरातः सबसे ज्यादा मुख्यमंत्री देखने वाले महेंद्र मशरू हारे

मुश्किल मुकाबले में फंसी भाजपा को इस बार गुजरात विधानसभा चुनाव के लिए हर एक सीट पर नए सिरे से रणनीति बनानी पड़ी थी। पर जूनागढ़ को लेकर वह पूरी तरह से बेफिक्र थी। इसका कारण थे महेंद्र मशरू, जो इस सीट से लगातार छह चुनाव जीत चुके थे। सातवीं बार उनकी जीत में विरोधियों को भी संदेह नहीं था। लेकिन, सोमवार को जब वोटों की गिनती पूरी हुई तो पता चला कि मशरू को कांग्रेस के भीखाभाई गलाभाई ने करीब छह हजार वोटों से पीछे छोड़ दिया है। मशरू को 70,766 और भीखाभाई को 76,850 वोट मिले।

मशरू 1990 से विधायक थे। गुजरात में उनसे ज्यादा सीएम किसी ने नहीं देखे। बतौर विधायक उन्होंने कुल दस मुख्यमंत्री देखे। पहली बार जब वे विधानसभा पहुंचे तो चिमनभाई पटेल सीएम बने थे। इसके बाद छविदास मेहता, केशुभाई पटेल, सुरेश मेहता, शंकर सिंह वाघेला, दिलीप पारीख, नरेंद्र मोदी, आनंदीबेन पटेल और विजय रुपाणी के बतौर मुख्यमंत्री कार्यकाल उन्होंने देखे। साफ-सुथरी छवि और सादगी की मिसाल माने जाने वाले मशरू राजनीति में आने से पहले बैंक में नौकरी करते थे।

उनकी सादगी के चर्चे पूरे प्रदेश में होते हैं। वे रोडवेज बस से विधानसभा जाते थे और आमतौर पर साइकिल से चलते थे। हर चुनाव की तरह इस बार भी उन्होंने बिना किसी शोर-शराबे, चकाचौंध, रैली-जुलूस के ही घूम-घूमकर प्रचार किया था। 1990 और 1995 में उन्होंने निर्दलीय के तौर पर चुनाव जीता था। उनकी लोकप्रियता का आलम यह था कि 1995 में उन्होंने भाजपा, कांग्रेस सहित सभी तीस उम्मीदवारों की जमानत जब्त करवा दी थी। बाद में भाजपा ने उन्हें अपने साथ ले लिया। 1998 से 2012 तक उन्होंने भाजपा के टिकट पर चुनाव जीता। वे गुजरात में लोहाना समुदाय के एक मात्र विधायक थे।

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TAGS: गुजरात, चुनाव, नतीजे, जूनागढ़, मशरू, Gujarat, Poll, Result, Junagadh, Mashru
OUTLOOK 18 December, 2017
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