लोकसभा चुनाव 2019 से पहले ममता बनर्जी की कोलकाता में महारैली कल, दिखेगी गैर-भाजपा दलों की एकजुटता
तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) की 19 जनवरी को कोलकता में होने वाली महारैली में गैर-भाजपा दलों के दिग्गज जुटेंगे। 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले इस महारैली को केंद्र की मोदी सरकार के खिलाफ विपक्ष के शक्तिप्रदर्शन के रूप में देखा जा रहा है।
यह महारैली शहर के बीचोबीच स्थित ब्रिगेड परेड में होने जा रही है। इसमें सभी विपक्षी नेताओं को बुलाया गया है। इसके लिए पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री और टीएमसी प्रमुख ममता बनर्जी ने पूरी ताकत झोंक दी है। ममता बनर्जी आगामी लोकसभा चुनावों के दौरान भाजपा के खिलाफ एक मोर्चा तैयार करना चाहती हैं। सबको एक मंच पर खड़ा करने की कोशिश कर रही ममता के लिए यह महारैली किसी अग्निपरीक्षा से कम नहीं दिख रही है। माना जा रहा है कि यह महारैली भाजपा के खिलाफ बनर्जी के बनाए 'फेडरल फ्रंट' की पहल होगी।
राहुल ने पत्र लिखकर जताया समर्थन
कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने भी रैली को नैतिक समर्थन देने का ऐलान करते हुए टीएमसी सुप्रीमो को पत्र लिखा है। राहुल ने लिखा कि बंगाल की जनता हमेशा ही जनविरोधी ताकतों के साथ खड़ी रही है। मोदी सरकार के खिलाफ इस वक्त पूरे देश में आक्रोश है और टीएमसी के इस प्रयास का कांग्रेस पार्टी पूरा समर्थन करती है।
सोनिया और राहुल नहीं होंगे शामिल
टीएमसी के एक वरिष्ठ नेता के मुताबिक, रैली में पूर्व प्रधानमंत्री एचडी देवगौड़ा, दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, कर्नाटक के मुख्यमंत्री एच डी कुमारस्वामी, एनसीपी सुप्रीमो शरद पवार, समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव रैली को संबोधित करेंगे। रैली में यूपीए चेयरपर्सन सोनिया गांधी और कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी नहीं आएंगे। उनका प्रतिनिधित्व वरिष्ठ कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे और अभिषेक मनु सिंघवी करेंगे।
जुटेंगे विपक्षी दलों के दिग्गज
इसके अलावा आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री और तेलुगु देशम पार्टी के नेता चंद्रबाबू नायडू, द्रविड़ मुनेत्र कषगम के अध्यक्ष एम के स्टालिन, नेशनल कॉन्फ्रेंस के मुखिया फारूक अब्दुल्ला और उनके बेटे उमर अब्दुल्ला, राष्ट्रीय जनता दल के नेता तेजस्वी यादव, बहुजन समाजवादी पार्टी नेता सतीश मिश्रा, राष्ट्रीय लोक दल के मुखिया अजीत सिंह और दल के युवा नेता, उनके पुत्र जयंत चौधरी, पूर्व केंद्रीय मंत्री और भाजपा के बागी नेता यशवंत सिन्हा और अरुण शौरी, पाटीदार आंदोलनकारी हार्दिक पटेल, अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री गेगांग अपांग, झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन, गुजरात के निर्दलीय विधायक और दलित नेता जिग्नेश मेवाणी भी रैली में शिरकत करेंगे।
शत्रुघ्न सिन्हा भी करेंगे शिरकत
दिलचस्प है कि भाजपा नेता शत्रुघ्न सिन्हा भी इस पार्टी विरोधी रैली में शामिल होंगे। वह पिछले कई सालों से विभिन्न मुद्दों को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधते रहे हैं। उन्होंने कहा कि वह 'राष्ट्र मंच' के प्रतिनिधि के तौर पर महारैली में शामिल होंगे। उन्होंने रैली में शामिल होने को उचित ठहराते हुए कहा, 'भाजपा के कुछ नेता भी आरएसएस के कार्यक्रम में शिरकत करते हैं।' उन्होंने कहा, 'अभी तक पार्टी के प्रति मेरी वफादारी पर सवाल नहीं किए जा सकते हैं। मैं भाजपा में तब शामिल हुआ जब यह दो सांसदों की पार्टी थी और मैंने हमेशा इसे मजबूत करने के लिए काम किया है।'
कई नेता रैली के लिए शुक्रवार को ही पहुंच जाएंगे। करीब चार लाख लोग रैली के लिए राजधानी कोलकाता पहुंच चुके हैं। पिछले एक साल से लोकसभा चुनावों को लेकर ममता बनर्जी विपक्ष को एकजुट करने में जुटी हैं। हाल में तीन राज्यों में भाजपा को मिली हार में ममता बनर्जी की अहम भूमिका रही है।