मायावती ने भंग की बसपा की राजस्थान कार्यकारिणी
बहुजन समाज पार्टी (बसपा) सुप्रीमो ने मायावती ने सोमवार को राजस्थान की कार्यकारिणी को भंग कर दिया है। रामजी गौतम और मुनकाद अली को राजस्थान में पार्टी का काम देखने के लिए नियुक्त किया गया है। हाल ही में राजस्थान में बसपा के सभी छह विधायकों ने कांग्रेस का दामन थाम लिया था। जिसके बाद मायावती ने यह फैसला किया है।
विधायकों के दल-बदल को लेकर बसपा सुप्रीमो मायावती कांग्रेस पर जमकर बरसीं। मायावती ने कहा कि कांग्रेस उन पार्टियों को हमेशा चोट पहुंचाती है जो उसे समर्थन देती हैं। मायावती ने ट्वीट के जरिए कांग्रेस को दलित विरोधी और धोखेबाज पार्टी बताया था।
वहीं, बसपा सुप्रीमो के आरोपों पर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा था कि कांग्रेस खरीदफरोख्त नहीं करती। बसपा के विधायक राज्य के हित के मद्देनजर स्वेच्छा से कांग्रेस में शामिल हुए हैं। राज्य में एक स्थिर सरकार रहे, इसके लिए उन विधायकों ने फैसला किया। उप-मुख्यमंत्री सचिन पायलट ने भी मायावती के आरोपों को सिरे से खारिज करते हुए कहा था कि बिना किसी लोभ-लालच के, बिना शर्त के विधायक कांग्रेस में आए हैं, तो इसमें किसी को आपत्ति नहीं होनी चाहिए।
ये विधायक हुए थे कांग्रेस में शामिल
बसपा विधायक राजेंद्र गुड्ड (उदयपुरवाटी), जोगेंद्र सिंह अवाना (नदबई), वाजिब अली, लखन सिंह मीणा (करोली), संदीप यादव (तिजारा) और दीपिका खेरिया (किशनगढ़बास) ने कांग्रेस की सदस्यता ग्रहण की थी।
पिछले साल हुए विधानसभा चुनावों में कांग्रेस ने 100 सीटों पर जीत दर्ज की थी। बसपा के 6 विधायकों के समर्थन के अलावा, कांग्रेस को कुल 13 निर्दलीय विधायकों में से 12 का समर्थन प्राप्त था। हालांकि इस साल मार्च में सभी 12 निर्दलीय विधायक कांग्रेस में शामिल हो गए थे और कांग्रेस विधायकों की संख्या बढ़कर 112 हो गई थी।