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03 August 2021

राहुल की ब्रेकफास्ट पॉलिटिक्स, विपक्षी एकता पर दिया जोर, लेकिन आप-बसपा ने बनाई दूरी

13 अगस्त तक चलने वाले संसद के मानसून सत्र के दौरान पेगासस जासूसी मामले को लेकर सरकार और विपक्ष के बीच गतिरोध जारी है। कांग्रेस की अगुवाई में कई विपक्षी पार्टियां इस मामले पर चर्चा चाहती हैं।इसी सिलसिले में विपक्षी एकता को और मजबूत करने के लिए कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने आज यानी मंगलवार को विपक्षी दलों के नेताओं को कांस्टीट्यूशन क्लब में नाश्ते पर आमंत्रित किया, मगर इस मीटिंग से अरविंद केजरीवाल की आम आदमी पार्टी और मायावती की बसपा दूर ही रहीं। माना जा रहा है कि संसद में मोदी सरकार को घेरने के लिए रणनीति पर चर्चा करने के लिए राहुल गांधी ने यह मीटिंग बुलाई है। 

बैठक के दौरान राहुल गांधी ने विपक्षी पार्टियों से एकजुट होने की अपील करते हुए कहा, 'हमें इस आवाज(लोगों की आवाज) को एकजुट करना होगा, ये आवाज जितनी एकजुट होगी उतनी ही मजबूत होगी। और भाजपा और आरएसएस के लिए इस आवाज को दबाना उतना ही मुश्किल होगा।'

वहीं, पेट्रोल और डीजल की बढ़ती कीमतों को लेकर अपना विरोध जताने के लिए कांग्रेस नेता राहुल गांधी समेत विपक्ष के अन्य नेता साइकिल से संसद जा रहे हैं।

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हिंदुस्तान की खबर के मुताबिक, इस ब्रेकफास्ट मीटिंग में राजद, तृणमूल कांग्रेस, शिवसेना, समाजवादी पार्टी, जेएमएम, सीपीआईएम, एनसीपी, सीपीएम, जेएमएम समेत अन्य कई दलों के नेता शामिल हुए हैं, मगर अब तक बसपा और आप की ओर से कोई शामिल नहीं हो पाया है। 

बता दें कि राहुल की मीटिंग के लिए लेफ्ट पार्टियों, राष्ट्रीय जनता दल, समाजवादी पार्टी, बहुजन समाज पार्टी, तृणमूल कांग्रेस, द्रमुक, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी, शिवसेना, आम आदमी पार्टी, मुस्लिम लीग और नेशनल कॉन्फ्रेंस सहित 15 दलों के नेताओं को न्योता भेजा गया था।  दोनों सदनों में विपक्षी नेताओं को भी न्योता भेजा गया था।

विपक्षी दल स्पायवेयर से जासूसी के आरोपों की जांच समेत अपनी मांगों को लेकर संसद के दोनों सदनों में स्थगन का दबाव बना रहे हैं। विपक्षी दल पेगासस स्पायवेयर की मदद से जासूसी के आरोपों की अदालत की निगरानी में जांच की मांग कर रहे हैं। वहीं, सरकार ने विपक्ष के आरोपों को खारिज किया है।

इस मुद्दे पर विपक्षी दलों ने पिछले सप्ताह भी एक बैठक की थी। उसमें राहुल गांधी भी मौजूद थे। बाद में विपक्षी नेताओं ने एक बयान भी जारी किया था। राहुल गांधी पेगासस मुद्दे पर शुरुआत से आक्रामक हैं। ब्रेकफास्ट पॉलिटिक्स को उनकी विपक्ष के चेहरे के रूप में उभरने की कवायद माना जा रहा है। पिछले हफ्ते राहुल तीन कृषि कानूनों को निरस्त करने की किसानों की मांग के समर्थन में ट्रैक्टर से संसद पहुंचे थे। बता दें कि संसद का सत्र 19 जुलाई से शुरू हुआ और 13 अगस्त को खत्म होगा।

गौरतलब है कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पिछले हफ्ते दिल्ली दौरे पर थीं। इस दौरान उन्होंने कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी से उनके आवास 10 जनपथ में मुलाकात की थी। मीटिंग में राहुल गांधी भी मौजूद थे। मुलाकात के बाद ममता ने कहा था कि हमने राजनीतिक परिस्थितियों, पेगासस और कोरोना की स्थिति और विपक्ष की एकता पर चर्चा की। मुझे लगता है कि भविष्य में इसके सकारात्मक परिणाम सामने आएंगे।

लीडरशिप पर ममता ने कहा था कि अगर विपक्ष की ओर से कोई दूसरा चेहरा सामने आता है तो मुझे कोई दिक्कत नहीं है। जब मामले पर चर्चा होगी तो हम इस पर फैसला करेंगे। मैं नेता नहीं बनना चाहती, बल्कि एक साधारण कैडर बनकर काम करना चाहती हूं।

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TAGS: Rahul Gandhi, Breakfast Politics, TMC-Shiv Sena, gather for breakfast meeting
OUTLOOK 03 August, 2021
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