राजस्थान वापस लौट सकते हैं पायलट, सीएम गहलोत ने सभी विधायकों की बुलाईं बैठक; संकट टलने के आसार
राजस्थान में कांग्रेस की अगुवाई वाली अशोक गहलोत की सरकार में एक दिन के राजनीतिक ड्रामें के बाद अब संकट के बादल छंटते दिख रहे हैं। कांग्रेस के सूत्रों ने आउटलुक को बताया कि पार्टी की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी और नेता व पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी के हस्तक्षेप से गहलोत और उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट के बीच सबकुछ ठीक करने के प्रयास किए गए हैं। इससे पहले सूत्रों ने दावा किया कि करीब तीस विधायक सचिन पायलट के समर्थन में हैं। पायलट जो निर्णय लेंगे, ये विधायक वही करेंगे।
वहीं, पार्टी के एक वरिष्ठ नेता ने बताया की सचिन पायलट ने राहुल गांधी से बात की और सीएम अशोक गहलोत के साथ शुरु हुए राजनीतिक हलचल के समाधान के लिए आज रात जयपुर लौटने पर सहमत हुए। राज्य कांग्रेस के महासचिव अविनाश पांडे, नेता रणदीप सुरजेवाला और अजय माकन के साथ गहलोत, पायलट और कांग्रेस विधायक दलों से बात करने की संभावना है। साथ ही सीएम गहलोत ने सोमवार को सुबह 10.30 बजे मुख्यमंत्री आवास पर विधायक दल की बैठक बुलाई है। गहलोत आज रात करीब 9 बजे के आस-पास अपने आवास पर डिनर के लिए पार्टी के विधायकों और अपने सहयोगी मंत्रियों को आमंत्रित किया है। हालाँकि, अब तक ये स्पष्ट नहीं है कि पायलट और उनके समर्थक विधायक शामिल होंगे या नहीं।
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इस बीच, राज्य में कांग्रेस के प्रभारी महासचिव अविनाश पांडे ने समाचार एजेंसी प्रेस ट्रस्ट ऑफ इंडिया (पीटीआई) को बताया कि राज्य के सभी पार्टी विधायक उनके संपर्क में हैं। हालांकि, उन्होंने कहा था कि वह अभी भी डिप्टी सीएम सचिन पायलट से संपर्क करने की कोशिश कर रहे हैं।
राज्य की विधानसभा में कुल दो सौ सीटें हैं। इसमें से कितने विधायक गहलोत खेमे के समर्थक हैं, इसी के मुताबिक राज्य में गहलोत सरकार पर संकट कम हो सकता है। भाजपा के पास अभी 72 विधायक है। यदि सचिन पायलट अपना पाला बदलते हैं तो उनके समर्थक के पार्टी बदलने की संभावना है। हालांकि, गहलोत खेमे का कहना है कि इनमें से कुछ बागी कांग्रेस और सीएम से संपर्क में हैं। इनके पार्टी छोड़ने की संभावना नहीं है।