सूरजकुंड मंथन : भाजपा में अब संगठन मंत्री और अधिक पॉवरफुल होंगे
सूत्रों के अनुसार नई राष्ट्रीय कार्यकारिणी के गठन के उपरांत कई प्रदेशों में नए संगठन मंत्रियों की नियुक्ति भी हो सकती है। वे पहले की तुलना में पार्टी में और अधिक शक्तिशाली बनाए जाएंगे। बैठक में डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी के ध्येय और पंडित दीनदयाल उपाध्याय के अंत्योदय पर गहन चिंतन मनन किया गया।
भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव राम माधव ने भी बैठक में शिरकत की। अन्य महासचिवों के 13 सितंबर को आने की उम्मीद है। इसमें पार्टी को मजबूत बनाने से लेकर सभी प्रमुख बिंदुओं पर चर्चा होनी है।
बैठक के बाद कयास लगाए जा रहे हैं कि आरएसएस और भाजपा में पहले से कहीं अधिक बेहतर समझ और विकसित होगी। आरएसएस नेताओं द्वारा बिना किसी वजह के बयान देने से केंद्र सरकार के लिए मुसीबत बन जाती है। ऐसे में आरएसएस के प्रतिनिधि के रूप मेंं भाजपा में काम करने वाले संगठन मंत्री विभिन्न समसामयिक मुद्दों पर चर्चा कर रहे हैं। बैठक में प्रतिदिन चार सत्र हो रहे हैं। इसमें विभिन्न मुद्दे रखे जा रहे हैं। जो राजनीतिक सामाजिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण हैं।