राज्यसभा में पीएम ने कहा- सीएए पर देश को गलत जानकारी देना सही नहीं, कांग्रेस सहित विपक्ष ने किया वॉक आउट
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रपति के अभिभाषण पर गुरुवार को लोकसभा के बाद राज्यसभा में धन्यवाद प्रस्ताव पर भाषण दिया, जिसमें उन्होंने अपने कार्यकाल में किए कई कामों का उल्लेख करते हुए विपक्ष पर निशाना साधा। संसद के निचले सदन लोकसभा में कई मुद्दों पर विपक्ष पर हमला करने के बाद राज्यसभा में कश्मीर और पूर्वोत्तर के राज्यों के मुद्दों पर अपनी बात रखी। वहीं, पीएम के भाषण के बाद कांग्रेस सहित अन्य विपक्षी दलों ने राज्यसभा से वॉक आउट किया। जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 को हटाए जाने की आलोचना करने को लेकर विपक्ष को आड़े हाथों लिया
'लोग आसानी से नहीं भुलते'
पीएम ने कहा, "गुलाम नबी आज़ाद जी ने कहा कि जम्मू और कश्मीर पर निर्णय बिना किसी चर्चा के लिया गया। यह सही नहीं है। पूरे देश ने इस विषय पर विस्तृत चर्चा की। सांसदों ने फैसलों के पक्ष में मतदान किया है।" उन्होंने संबोधन में कहा, "लोग आसानी से चीजों को नहीं भूलते हैं। मैं राज्यसभा में विपक्ष के नेता को याद दिलाना चाहता हूं कि तेलंगाना राज्य बनने के समय दरवाजे बंद कर दिए गए थे और लाइव टेलीकास्ट प्रतिबंधित कर दिया गया था।" आगे पीएम ने कहा, “कई विपक्षी दलों द्वारा सीएए पर लिया जा रहा कदम बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है। क्या राष्ट्र को गुमराह करना और गलत जानकारी देना ठीक है? क्या यह अभियान का हिस्सा हो सकता है जो ऐसा करते है? "
‘5 अगस्त को 'काला दिवस'
अनुच्छेद 370 को हटाने और जम्मू-कश्मीर को दो हिस्सों में बांटने को लेकर पीएम ने जोर देते हुए कहा, "दशकों में पहली बार, जम्मू और कश्मीर के लोगों को आरक्षण का लाभ मिला है। ब्लॉक डेवल्पमेंट काउंसिल्स (बीडीसी) के चुनाव हुए। वहाँ रियल एस्टेट (रेगुलेशन एंड डेवलपमेंट) अस्तित्व में आया। पहली बार जम्मू और कश्मीर को एक व्यापक स्टार्ट-अप, व्यापार और लॉजिस्टिक पॉलिसी मिली। एंटी करप्शन ब्यूरो को स्थापित किया गया।" साथ ही पीएम ने आतंकवाद को प्रोत्साहित करने वालों के लिए 5 अगस्त को ‘काला दिवस’ कहा। गौरतलब है कि बीते साल 5 अगस्त को जम्मू-कश्मीर को दो केंद्र शासित प्रदेशों में विभाजित कर दिया गया था और अनुच्छेद 370 को हटा दिया गया था।
‘जहां थे उससे और पीछे चले गए’
पीएम मोदी ने कहा, "यह अनुभवी और वरिष्ठ महानुभावों का सदन है और इससे देश की अपेक्षाएं थी। मुझ जैसे नए लोगों को और ज्यादा कि, नई-नई बातें जानने को मिलेगी। लेकिन, ऐसा लगता है कि जहां आप ठहरे हुए थे वहीं रूके हुए हैं। और-तो-और कभी-कभी तो ऐसा लगता है कि पीछे ही जा रहें हैं। वहां से आगे बढ़ने का नाम नहीं लेते जिसकी वजह से मुझे थोड़ी निराशा हाथ लगी है।"
वामपंथी दलों पर किया कटाक्ष
कांग्रेस और वामपंथी दलों पर एक साथ कटाक्ष करते हुए नॉर्थ-ईस्ट के मुद्दों पर पीएम ने कहा, “हमारी सरकार ने इसके लिए कदम उठाए हैं। ब्रू शरणार्थियों की दुर्दशा दयनीय थी। फिर भी, वह पार्टी जिसने दशकों तक नॉर्थ-ईस्ट के ज्यादातर हिस्सों पर राज किया, त्रिपुरा में शासन किया, लेकिन इस समस्या के बारे में कुछ नहीं किया। यह हमारी सरकार थी जिसे इस बड़ी समस्या को हल किया।"