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28 July 2016

ओलंपिक के बाद आराम करना चाहता हूं : राष्ट्रीय मुक्केबाजी कोच संधू

गूगल

उन्हें सबसे पहले 1993 में राष्ट्रीय मुक्केबाजी कोच नियुक्त किया गया था, उन्होंने इसके बाद 2012 ओलंपिक के बाद अपने पद से हटने का फैसला किया लेकिन भारतीय खेल प्राधिकरण (साई) ने 2013 में उन्हें रियो खेलों के बाद तक फिर से पद पर वापस बुला लिया। संधू ने छह अगस्त से शुरू होने वाली मुक्केबाजी प्रतिस्पर्धा के लिये दल के रियो रवाना होने से पहले पीटीआई से कहा, मैं इस ओलंपिक के बाद आराम करना चाहता हूं, मैंने संबंधित अधिकारियों को इसके बारे में सूचित कर दिया है। यह काफी लंबा कार्यकाल हो गया है और मैं उम्मीद करता हूं कि भारतीय मुक्केबाज रियो में काफी अच्छे परिणाम हासिल करेंगे। यह पूछने पर कि इसका मतलब है कि भारतीय मुक्केबाजी के साथ उनका जुड़ाव खत्म हो जायेगा तो उन्होंने अस्पष्ट सा जवाब दिया। संधू ने कहा, आगे क्या होगा, आप इसके बारे में कुछ निश्चित नहीं कह सकते। अगर मुझसे पूछा जाता है तो मैं जिम्मेदारी को न कभी नहीं कहूंगा लेकिन मैं अब सचमुच आराम करना चाहता हूं। वर्ष 2012 से चल रही प्रशासनिक उठापटक से निराश संधू को रियो के लिये क्वालीफाई होने वाले तीनों मुक्केबाजों शिव थापा (56 किग्रा), मनोज कुमार (64 किग्रा) और विकास कृष्ण (75 किग्रा) से पदक की उम्मीद है। उन्होंने कहा, जो कुछ हो रहा है, उस पर हमारा नियंत्रण नहीं है। हमारा काम ट्रेनिंग करना और प्रदर्शन करना है। हमारा पूरा ध्यान सिर्फ इसी पर होता है। मैं मुक्केबाजों से यादगार प्रदर्शन की उम्मीद कर रहा हूं।

एजेंसी

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TAGS: राष्ट्रीय मुक्केबाजी कोच, गुरबक्श सिंह संधू, रियो ओलंपिक, retirement, national boxing coach, Gurbax Singh Sandhu
OUTLOOK 28 July, 2016
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