ओबामा बोले, युद्ध में सब जायज है, जापान में हिरोशिमा पर नहीं मांगूंगा माफी
ओबामा ने कहा, यह इतिहासकारों का काम है कि वे सवाल पूछें और उनकी पड़ताल करें। लेकिन मैं पिछले साढ़े सात साल से इस पद पर बैठे हुए व्यक्ति के रूप में यह जानता हूं कि हर नेता बहुत कठिन फैसले लेता है, विशेषकर युद्धकाल में। ओबामा एेसे पहले अमेरिकी राष्टपति बनने जा रहे हैं, जो अपने पद पर रहते हुए हिरोशिमा की यात्राा पर जाएंगे। हिरोशिमा में छह अगस्त 1945 को पहला परमाणु बम गिराया गया था और इस बम हमले में लगभग 1.4 लाख लोग मारे गए थे।
हिरोशिमा पर गिराए गए इस शक्तिशाली बम के कारण उठे आग के गुबार की चपेट में आकर हजारों लोग मारे गए थे। इस बम हमले में बहुत से लोग घायल हुए थे और कितने ही लोग विकिरण की चपेट में आ गए थे। इन लोगों की आने वाले सप्ताहों, महीनों और वर्षों में मौत हो गई थी। दक्षिणी शहर नागासाकी पर तीन दिन बाद बम हमला किया गया। इस बम हमले में 74 हजार लोग मारे गए थे। इसे दूसरे विश्वयुद्ध के निर्णायक कदमों में से एक माना जाता है।