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02 March 2019

किसी देश के खिलाफ आतंकवाद के लिए अपनी जमीन इस्तेमाल नहीं होने देगा पाकः कुरैशी

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पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने दावा किया है कि उनका देश भारत सहित किसी भी देश के खिलाफ आतंकवाद के लिए अपनी जमीन का इस्तेमाल नहीं होने देगा। साथ ही कहा है कि जैश-ए- मोहम्मद आतंकी समूह के ‘मुख्य केंद्र’’ को सरकार ने कब्जे में ले लिया है।    

बुधवार को भारत ने पाकिस्तान को एक डोजियर सौंपा था जिसमें पुलवामा हमले में जैश-ए-मोहम्मद के शामिल होने और पाकिस्तान में इस आतंकी समूह के शिविरों की मौजूदगी का ‘खास ब्यौरा’ था। जैश-ए- मोहम्मद संयुक्त राष्ट्र से प्रतिबंधित आतंकी संगठन है। 

'हम भारत से बात करने के लिए तैयार हैं'

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विदेश मंत्री कुरैशी ने कहा, ‘भारत ने अपना डोजियर सौंपा। यदि भारत इस पर बात करना चाहता है तो हम इसके लिए तैयार हैं।’ उन्होंने कहा कि देश में नयी सोच और नए रुख वाली नयी सरकार है और इसकी नीतियां बिल्कुल साफ हैं। हम किसी भी समूह या संगठन को भारत सहित किसी भी देश के खिलाफ आतंकी गतिविधियों के लिए पाकिस्तान की जमीन का इस्तेमाल नहीं करने देंगे।

पुलवामा हमले को लेकर जैश-ए-मोहम्मद की जिम्मेदारी लेने पर कुरैशी ने कहा कि  इस बारे में ‘अब भी भ्रम’ है कि जैश ने हमले की जिम्मेदारी ली है या नहीं। इस बारे में भ्रम यह है कि जब जैश नेतृत्व से बात की गई तो उन्होंने हमले में अपना हाथ होने से इनकार किया।’

'अजहर के खिलाफ ठोस सबूत दे भारत'

इससे पहले कुरैशी ने एक इंटरव्यू में स्वीकार किया था कि जैश-ए-मोहम्मद का सरगना मसूद अजहर पाकिस्तान में है और ‘बहुत बीमार’ है, लेकिन कहा कि सरकार उसके खिलाफ तभी कार्रवाई कर सकती है जब भारत ऐसे ठोस सबूत दे जो अदालत में टिक सकें। कुरैशी ने कहा था, ‘मेरी जानकारी के अनुसार मसूद पाकिस्तान में है। वह इस हद तक बीमार है कि उसका घर से बाहर निकलना भी मुश्किल है, क्योंकि वह वास्तव में बीमार है।’

उनकी टिप्पणी तब आई जब कुछ दिन पहले पाकिस्तान के दोस्त चीन सहित 15 सदस्यीय संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने एक बयान में जैश-ए-मोहम्मद का नाम लेते हुए पुलवामा हमले की कड़े शब्दों में निन्दा की और इसे ‘जघन्य तथा कायराना’ हमला करार दिया। कुरैशी ने कहा कि पंजाब सरकार ने जैश-ए-मोहम्मद के बहावलपुर स्थित मुख्य केंद्र को कब्जे में ले लिया है। वह बहावलपुर स्थित मदरसातुल साबिर और जामा ए मस्जिद सुभानअल्लाह का नियंत्रण प्रांतीय सरकार द्वारा अपने हाथों में लिए जाने का हवाला दे रहे थे।

'हालात को शांत कराना ही मकसद'

उन्होंने कहा, ‘भारत को कार्रवाई के लिए सबूत देने चाहिए ताकि मामला दर्ज किया जा सके।’ उन्होंने कहा कि पाकिस्तानी अदालत स्वायत्तशासी हैं और मामले को आगे बढ़ाने के लिए सबूत की जरूरत है। मौजूदा हालात पर कुरैशी ने कहा कि संघर्षों का समाधान केवल बातचीत से ही हो सकता है। उन्होंने कहा, ‘स्थिति अब भी बहुत नाजुक है, दोनों देशों के सुरक्षा बल अब भी हाई अलर्ट पर हैं।’ उन्होंने कहा, ‘हम परमाणु हथियार संपन्न पड़ोसी देश हैं, क्या हम युद्ध का जोखिम उठा सकते हैं? पाकिस्तान स्थिति को शांत करना चाहता है।‘

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OUTLOOK 02 March, 2019
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