सिद्धू शांति के राजदूत, भारत में उनकी आलोचना गलत: इमरान खान
पाकिस्तान दौरे के दौरान पाकिस्तान सेना प्रमुख जनरल कमर जावेद बाजवा को गले लगाने पर भारत में बहुत से लोग पूर्व क्रिकेटर और कांग्रेस नेता नवजोत सिंह सिद्धू की आलोचना कर रहे हैं। सिद्धू पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल होने गए थे। अब इमरान खान सिद्धू के समर्थन में उतरे हैं। उन्होंने भारत में हो रही सिद्धू की आलोचना को शांति के लिए बाधक बताया है।
इमरान खान ने कहा, मैं शपथ ग्रहण में पाकिस्तान आने के लिए सिद्धू को बधाई देना चाहता हूं। वह शांति के राजदूत थे और पाकिस्तान के लोगों ने उन्हें खूब प्यार दिया। भारत में जो लोग उन पर निशाना साध रहे हैं वो वहां शांति के खिलाफ काम कर रहे हैं।'
वहीं, भारत लौटने पर नवजोत सिंह सिद्धू ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर आज अपना पक्ष रखा। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बिना न्योता नवाज के घर गए थे। अटल जी भी शांति का संदेश लेकर 1999 में लाहौर गए थे। उन्होंने कहा कि जब वह पाकिस्तान के प्रधान मंत्री इमरान खान के समारोह में पहली कतार में बैठे हुए थे तो उसी समय पाक सेना प्रमुख उन्हें मिलने आए और आते ही उन्होंने करतारपुर के रास्ते की बात की और कहा कि इसके रास्तों के लिए वह पूरी कोशिश कर रहे हैं और यह पूरी तरह संभव है।
सिद्धू ने कहा कि पाक सेना प्रमुख ने कहा कि वह भी शान्ति चाहते हैं। पाक फौज प्रमुख ने उनको श्री गुरु नानक देव जी के 550वें प्रकाश पर्व की बधाई भी दीं तो वह पूरी तरह भावुक हो गए। उन्होंने कहा कि वहां जाने से पाकिस्तान के साथ शान्ति की संभावनाएं बढ़ी हैं। नवजोत सिद्धू ने कहा कि दो दिनों की यात्रा दौरान हजारों लोगों ने उनको जितना प्यार दिया, वह उनके लिए सम्मान वाली बात है। आने वाले दिनों में दोनों देशों में आपसी तनाव भी घटेगा।
इससे पहले सिद्धू के पाकिस्तान जाने को लेकर बिहार की एक अदालत में मुकदमा दर्ज हुआ है। सिद्धू पर ये मुकदमा मुजफ्फरपुर में हुआ है और उन पर देशद्रोह का मामला दर्ज कराया गया है। सीजेएम की अदालत में मुकदमा दर्ज कराते हुए याचिकाकर्ता अधिवक्ता सुधीर ओझा ने आरोप लगाया कि सिद्धू ने पाकिस्तान सेना प्रमुख से गले मिलकर भारतीय सेना का अपमान किया है।