प्रॉजेक्ट को यूपी कैबिनेट की मंजूरी ऐसे समय में मिली है जब इस तरह की अटकलें थी कि पतंजलि यूपी में अपने इस निवेश का ऐलान अगले साल मार्च में विधानसभा चुनाव के बाद करने वाली है। इससे पहले कंपनी के अधिकारियों ने इसकी पुष्टि की थी कि प्रॉजेक्ट अंतिम स्टेज में है और इसके लिए जमीन की पहचान का काम चल रहा है। अधिकारियों ने बताया था कि प्लांट यमुना एक्सप्रेसवे के नजदीक हो सकता है।
ग्रेटर नोएडा प्लांट एक इंटरनैशनल फूड पार्क होगा जो घरेलू बाजार की जरूरतों की भी पूर्ति करेगा। प्रॉजेक्ट को लेकर पतंजलि के सीईओ आचार्य बालकृष्ण ने यमुना एक्सप्रेसवे इंडस्ट्रियल डिवेलपमेंट अथॉरिटी के साथ कई दौर की बातचीत कर चुके हैं। जमीन आवंटन के बाद यूनिट एक से डेढ़ साल में काम करना शुरू कर सकती है।
प्लांट अगर पूरी क्षमता से चला तो सालाना 25 हजार करोड़ रुपये के सामान का उत्पादन करेगा। उम्मीद की जा रही है कि इससे 10 हजार लोगों को प्रत्यक्ष रोजगार मिल सकता है जिससे करीब 50 हजार परिवारों को फायदा पहुंचेगा। पतंजलि मध्य प्रदेश, असम, महाराष्ट्र और जम्मू-कश्मीर में भी यूनिट्स लगाना चाहती है।