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स्टेट बैक ने फिक्स्ड डिपॉजिट पर 0.30 फीसदी ब्याज घटाया, कर्ज लेने वालों को मामूली राहत

देश के सबसे बड़े बैक भारतीय स्टेट बैंक ने जमाराशियों पर ब्याज दर घटाकर जमाकर्ताओं खासकर ब्याज आय पर...
स्टेट बैक ने फिक्स्ड डिपॉजिट पर 0.30 फीसदी ब्याज घटाया, कर्ज लेने वालों को मामूली राहत

देश के सबसे बड़े बैक भारतीय स्टेट बैंक ने जमाराशियों पर ब्याज दर घटाकर जमाकर्ताओं खासकर ब्याज आय पर निर्भर बुजुर्गों को बड़ा झकटा दिया है। बैंक ने एक साल से दो साल तक की अवधि के रिटेल और बल्क फिक्स्ड डिपॉजिट पर ब्याज दर में 0.10 से 0.30 फीसदी की कटौती की है। इसके अलावा बचत खाते में एक लाख रुपये तक के जमा पर ब्याज दर 0.25 फीसदी घटाकर 3.25 फीसदी कर दिया है।  इससे पहले बैंक ने कर्जदारों को राहत देने की घोषणा की थी। बैंक के एमसीएलआर में 0.10 फीसदी की कटौती करके ग्राहको को कर्ज की ब्याज दर में राहत दी है।

एफडी पर ब्याज 0.10 से 0.30 फीसदी तक घटा

बैंक के बयान के अनुसार एक साल से दो साल तक के रिटेल और बल्क टर्म डिपॉजिट पर ब्याज दर में 0.10 से 0.30 फीसदी की कटौती की है। यह ब्याज दर 10 अक्टूबर से लागू होगी। इसके अलावा बचत खाते में एक लाख रुपये तक जमा पर ब्याज दर 3.50 फीसदी से घटाकर 3.25 फीसदी कर दिया है। नई ब्याज दर एक नवंबर से लागू होगी। 

नई एफडी ब्याज दर (दो करोड़ रुपये से कम, आम जनता के लिए)

7 दिन से 45 दिन-4.50 फीसदी

46 दिन से 179 दिन-5.50 फीसदी

180 दिन to 210 दिन-5.80 फीसदी

211 दिन से एक साल से कम-5.8 फीसदी

1 साल से 2 साल-6.4 फीसदी

2 साल से 3 साल-6.25 फीसदी

3 साल से 5 साल-6.25 फीसदी

5 साल से 10 साल-6.25 फीसदी

नई एफडी ब्याज दर (दो करोड़ रुपये से कम, वरिष्ठ नागरिकों के लिए)

वरिष्ठ नागरिकों को पहले की तरह 0.50 फीसदी ज्यादा ब्याज मिलेगा।

7 दिन से 45 दिन-5.00 फीसदी

46 दिन से 179 दिन-6 फीसदी

180 दिन से 210 दिन-6.3 फीसदी

211 दिन से एक साल से कम -6.3 फीसदी

1 साल से दो साल-6.9 फीसदी

2 साल से तीन साल -6.75 फीसदी

3 साल 5 साल-6.75 फीसदी

5 साल से 10 साल-6.75 फीसदी

लोन का ब्याज 0.10 फीसदी घटाया

त्योहारी सीजन में ग्राहकों को लुभाने के लिए बैंक ने मार्जिनल कॉस्ट बेस्ड लैंडिंग (एमसीएलआर) ब्याज दरों में 0.10 फीसदी की गिरावट की है। बैंक ने नई दरें 10 अक्टूबर से प्रभावी करने की घोषणा की है। बैंक के इस कदम से होम लोन और बाकी सभी तरह के कर्जों में मौजूदा ग्राहकों को राहत मिलेगी।

इस साल छठवीं बार एमसीएलआर में कटौती

चालू वित्त वर्ष में छठवीं बार एमसीएलआर में कटौती की घोषणा की है। एमसीएलआर की ब्याज दरें उन ग्राहकों पर लागू होती हैं जिनके कर्ज की ब्याज दर रेपो रेट से जुड़ी नहीं है। बैंक ने एक बयान जारी करने कहा है कि त्योहारी सीजन को देखते हुए सभी अवधियों के एमसीएलआर में कटौती का लाघ सभी ग्राहकों को दिया गया है।

एक साल का एमसीएलआर अब 8.05 फीसदी

ताजा कटौती के बाद एक साल का एमसीएलआर 8.15 फीसदी से घटकर 8.05 फीसदी रह गया है। पिछले सप्ताह भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा द्वारा रेपो रेट में 0.25 फीसदी कटौती किए जाने के बाद एसबीआइ ने यह कदम उठाया है।

मौजूदा ग्राहकों को इस स्थिति में अभी नहीं मिलेगा लाभ

बैंक एमसीएलआर से कम ब्याज पर कर्ज नहीं दे सकते हैं। हालांकि आरबीआइ की अनुमति से अपवाद स्वरूप कुछ क्षेत्रों में कम ब्याज दर लागू करने की छूट है। एमसीएलआर बैंक की फंड जुटाने की लागत पर निर्भर होता है। एमसीएलआर में ताजा कटौती का लाभ मौजूदा ग्राहकों को उस स्थिति में फिलहाल नहीं मिलेगा, अगर साल में एक बार ब्याज दर बदलाव की शर्त लागू है।

रेपो रेट से जुड़े कर्ज स्वतः ही सस्ते हुए

चूंकि नए कर्ज एसबीआइ द्वारा रेपो रेट से जुड़ी ब्याज दर पर दिए जा रहे हैं। इसलिए नए ग्राहको पर एमसीएलआर में बदलाव का असर नहीं पड़ेगा। उन्हें रेपो रेट में 25 फीसदी कटौती के अनुसार स्वतः की कम ब्याज दर का लाभ मिल जाएगा।

7.80 फीसदी ब्याज से साथ प्रीमियम भी

एसबीआइ रेपो रेट से जुड़े ग्राहकों से मौजूदा रेपो रेट 5.15 के साथ 2.65 फीसदी स्प्रेडिंग यानी अतिरिक्त ब्याज चार्ज करता है। इस तरह प्रभावी ब्याज दर इस समय 7.80 फीसदी है। लेकिन एसबीआइ अपना मार्जिन सुरक्षित रखने के लिए होम लोन की ब्याज दर पर प्रीमियम भी चार्ज कर रहा है।

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