राजधानी दिल्ली के शाहीन बाग में पिछले दो महीनों से नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) और एनआरसी के खिलाफ प्रदर्शन हो रहा है। प्रदर्शनकारियों ने तभी से दिल्ली और नोएडा को जोड़ने वाली कालिंदी कुंज रोड को ब्लॉक कर रखा है। कल यानी सोमवार को इस मामले में सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। कोर्ट ने शाहीन बाग के प्रदर्शनकारियों से बात करने और उन्हें समझाने के लिए वार्ताकारों के पैनल का गठन किया है, जो आज वरिष्ठ वकील संजय हेगड़े के घर पर आपस में मुलाकात के लिए पहुंचे हैं।
बता दें कि संजय हेगड़ भी इसी पैनल का हिस्सा हैं। इस पैनल में संजय हेगड़े के अलावा साधना रामचंद्रन और वजाहत हबीबुल्लाह भी हैं। यह दोनों इस वक्त संजय हेगड़े के घर पर बैठक के लिए पहुंचे हैं। माना जा रहा है कि यह सभी एक-दूसरे से बात कर शाहीन बाग भी जा सकते हैं।
सोमवार को कोर्ट के फैसले के बाद क्या बोले संजय हेगड़े
इससे पहले सोमवार को संजय हेगड़े से दिल्ली पुलिस के आला अधिकारियों ने मुलाकात की। वरिष्ठ वकील संजय हेगड़े ने कहा कि मंगलवार को साधना रामचंद्रन दिल्ली में नहीं होंगी। लिहाजा औपचारिक बातचीत शुरू नहीं हो पाएगी। हेगड़े ने कहा कि अगर ज्यादा जरूरी हुआ भी तो वो मंगलवार को अनौपचारिक तौर पर ही शाहीनबाग में धरनास्थल पर जाएंगे। तब वहां प्रदर्शनकारियों से अनौपचारिक बातें ही होंगी। बुधवार को औपचारिक वार्ता तो सबकी मौजूदगी में ही होगी।
संजय हेगड़े के साथ दिल्ली पुलिस के अधिकारियों की बैठक
संजय हेगड़े ने कहा कि वार्ता के अवसर पर सभी मुद्दों, विकल्पों और संभावनाओं पर खुलकर बात करने के लिए वो पूरा जोर लगाएंगे ताकि इस मसले का सर्वमान्य हल निकल सके। सोमवार को संजय हेगड़े से दिल्ली पुलिस के अधिकारियों की बैठक हुई। शाहीन बाग प्रदर्शन साइट को लेकर दिल्ली पुलिस ने अपने सुझाव संजय हेगड़े से शेयर किए। प्रदर्शन के चलते दिक्कतों के बारे में बताया गया।
सोमवार को सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा
बता दें कि सोमवार को शाहीन बाग में हो रहे प्रदर्शन पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि किसी कानून के खिलाफ प्रदर्शन करना लोगों का मौलिक अधिकार है। लेकिन सड़क को ब्लॉक किया जाना चिंता का विषय है और अवश्य ही संतुलन बनाए जाने की जरूरत है। यही तरीका अगर अन्य समूह भी अपनाएंगे तो अव्यवस्था की स्थिति पैदा हो जाएगी।
कोर्ट ने वरिष्ठ वकील संजय हेगड़े और साधना रामचंद्रन को शाहीन बाग में प्रदर्शन कर रहे लोगों से बात करने और उन्हें वैकल्पिक स्थल पर जाने को मनाने को कहा, जहां कोई सार्वजनिक स्थल ब्लॉक न हो।
सुप्रीम कोर्ट कहेगा तो खाली होगा रास्ता
सीएए के खिलाफ शाहीन बाग में रास्ता घेरकर दो महीने से ज्यादा समय से धरना दे रही महिलाओं का कहना है कि अगली तारीख पर सुप्रीम कोर्ट ने रास्ता खाली करने का निर्णय दिया तो सभी प्रदर्शनकारी उसे स्वीकार करेंगे। महिलाओं ने सोमवार को आए सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत किया।
दिल्ली पुलिस-दिल्ली सरकार को प्रदर्शनकारियों से बातचीत करनी चाहिए
सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई को लेकर सोमवार सुबह से ही शाहीन बाग में सबकी सांसें थमी हुई थीं। दोपहर करीब 2 बजे निर्णय आने के बाद हर कोई उसे जानने के लिए उत्सुक दिखा। कोर्ट ने कहा कि दिल्ली पुलिस और दिल्ली सरकार को प्रदर्शनकारियों से बातचीत करनी चाहिए।
कोर्ट के फैसले का प्रदर्शनकारियों ने किया स्वागत
बताया जा रहा है कि अदालत की ओर से प्रदर्शनकारियों से बातचीत के लिए वरिष्ठ वकील संजय हेगड़े, साधना रामचंद्रन और पूर्व मुख्य सूचना आयुक्त वजाहत हबीबुल्लाह को मध्यस्थ नियुक्त करने का धरने पर बैठी महिलाओं ने तालियां बजाकर स्वागत किया।
दो महीनों से जारी है प्रदर्शन
बता दें कि पिछले करीब दो महीनों से सीएए और एनआरीस के खिलाफ शाहीन बाग में प्रदर्शन हो रहा है। सीएए-एनआरसी को विरोध में सैंकड़ों लोग शाहीन बाग में डेरा डाले हुए हैं, जिनके प्रदर्शनों वजह से एक मुख्य मार्ग अवरुद्ध हो गया है, जिसके कारण शहर में यातायात की समस्या पैदा हो गई है। शाहीन बाग में प्रदर्शन करने वालों में ज्यादातर महिलाएं हैं।