उत्तर पूर्वी दिल्ली में साल 2020 में हुए दंगों के मामले में दिल्ली हाई कोर्ट ने सुनवाई करते हुए सोमवार को कई बड़े नेताओं को नोटिस भेजकर जवाब देने को कहा है।
हाई कोर्ट ने जिन नेताओं को यह नोटिस भेजा है, उसमें केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर, कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी, कांग्रेस सांसद राहुल गांधी, कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी, बीजेपी नेता कपिल मिश्रा, बीजेपी सांसद परवेश वर्मा को भी नोटिस भेजा गया है। इन सबके खिलाफ उत्तर-पूर्वी दिल्ली दंगे से पहले कथित तौर पर भड़काऊ भाषण देने का आरोप लगाते हुए इनपर एफआईआर दर्ज करने की मांग की गई है।
दिल्ली दंगा मामलों में सोनिया गांधी और उनके दोनों बच्चों के अलावा हाई कोर्ट से आम आदमी पार्टी नेता और दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया और पार्टी नेता अमानतुल्लाह खान, एआईएमआईएम नेता वारिस पठान और अकबरुद्दीन ओवैसी के अलावा महमूद प्राचा, हर्ष मंदर और अभिनेत्री स्वरा भास्कर को भी नोटिस जारी किया गया है।
कोर्ट ने इन सभी के खिलाफ हुई भड़काऊ भाषण संबंधी एफआईआर में इन्हें पक्ष बनाने और इनके खिलाफ होने वाली कार्रवाई के संबंध में इनका रुख स्पष्ट करने के लिए कहा है।
बता दें कि पिछली सुनवाई में हाईकोर्ट ने कहा था कि क्या वे वही लोग हैं, जिनके खिलाफ आरोप लगाए गए हैं, क्या वही लोग इस मामले में पक्षकार हैं? क्या हम वास्तव में उनकी बात सुने बिना उन्हें गिरफ्तार करने की आपकी याचिका पर आगे बढ़ सकते हैं?
गौरतलब है कि भारत में कोविड की पहली लहर शुरू होने से पहले 23 फरवरी से 26 फरवरी, 2020 के दौरान सीएए आंदोलन के बीच में उत्तर-पूर्वी दिल्ली में दंगे भड़के थे, जिसमें 53 लोग मारे गए थे और 580 से ज्यादा लोग जख्मी हो गए थे।