सेना के एक वरिष्ठ अधिकारी ने आज लेफ्टिनेंट कर्नल स्तर के अधिकारी के हनी ट्रैप में फंसने की रिपोर्ट को खारिज करते हुए इसे विशुद्ध अटकलबाजी बताया। उन्होंने कहा कि अफसर के हनी ट्रैप के आरोप में हिरासत में लिए जाने और मनी एक्सचेंज की रिपोर्ट न तो सटीक हैं और न ही प्रामाणिक।
Reports of detention of officer, ‘Honey Trapping’, money exchange at this stage are pure speculation and neither accurate nor substantiated. Details on the outcome of the enquiry will be intimated in due course as per progress: Senior Army Official.
— ANI (@ANI) February 15, 2018
अधिकारी ने कहा कि चल रही जांच के हिस्से के तहत अफसर से पूछताछ की गई थी। इसके अलावा और कोई बात नहीं थीं। यही कारण है कि उक्त अफसर यूनिट में अपनी रुटीन ड्यूटी कर रहा है। उन्होंने कहा कि जांच के बाद जो निष्कर्ष निकलेगा उसे सही समय पर बता दिया जाएगा।
केस से जुड़े डिजिटल समेत सारे साक्ष्य जब्त कर लिए गए हैं और उन्हें फोरेंसिक जांच के लिए भेजा गया है। उन्होंने बताया कि जबलपुर के आर्मी बेस वर्कशऑप में तैनात लेफ्टिनेंट कर्नल के आइटी डिवाइस से क्लासीफाइड सूचना के संदिग्ध तौर पर लीक होने के मामले की प्रारंभिक जांच के आदेश सेना ने 12 फरवरी को ही दे दिए थे। अभी यह पता नहीं चल पाया है कि यह जान-बूझकर हुआ या अनजाने में। गौरतलब है कि बुधवार को लेफ्टिनेंट कर्नल के हनी ट्रैप में फंसने की खबर आई थी।