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कांग्रेस प्रवक्ता बनने का मौका, अब दिल्ली में भी होगी लिखित परीक्षा

कांग्रेस नेतृत्व में बदलाव के बाद पार्टी के तौर-तरीकों में भी नए प्रयोग देखने को मिल रहे हैं। यही वजह...
कांग्रेस प्रवक्ता बनने का मौका, अब दिल्ली में भी होगी लिखित परीक्षा

कांग्रेस नेतृत्व में बदलाव के बाद पार्टी के तौर-तरीकों में भी नए प्रयोग देखने को मिल रहे हैं। यही वजह है कि कांग्रेस अपने प्रवक्ताओं की नियुक्ति के लिए अनोखा तरीका अपना रही है, जो बहुत कम देखने को मिलता है। कांग्रेस ने प्रवक्ताओं की नियुक्ति के लिए लिखित परीक्षा आयोजित की थी, जिसका अगला चरण लखनऊ या दिल्ली में आयोजित किया जाएगा।

28 जून, 2018 को उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के द्वारा आयोजित प्रवक्ता/पैनलिस्ट चयन का प्रारम्भिक चरण था, जो लखनऊ में हुआ था। आने वाले समय में प्रवक्ता/पैनलिस्ट चयन का दूसरा चरण लखनऊ/दिल्ली में आयोजित किया जाएगा, जिसकी तिथि यूपीसीसी के द्वारा शीघ्र घोषित की जाएगी।

लखनऊ में हुई थी परीक्षा

गुरुवार को पार्टी के प्रदेश कार्यालय पर प्रवक्ता पद के उम्मीदवारों के इंटरव्यू और लिखित परीक्षा भी हुई। परीक्षा में पूछे गए सवालों से प्रवक्ता पद के उम्मीदवारों के पसीने छूट गए। पर्चा आउट होने से लेकर नकल होने के आरोप भी लगे।

कांग्रेस प्रवक्ता प्रदीप सिंह के फेसबुक पर विवादित पोस्ट के बाद प्रदेश अध्यक्ष राज बब्बर ने 20 जून को सभी विभाग भंग कर दिए थे। अपने पोस्ट में उन्होंने विभिन्न धारणाओं के माध्यम से यह सिद्ध करने का प्रयास किया था कि भारत विभाजन के लिए जिन्ना नहीं, सरदार पटेल जिम्मेदार थे। साथ ही सरदार पटेल, जयप्रकाश नारायण और राजेंद्र प्रसाद कश्मीर को उड़ी और बंगाल के बदले पाकिस्तान को देने को तैयार थे। माना जा रहा है कि इसी के मद्देनजर नए प्रवक्ताओं की तैनाती के लिए गुरुवार को परीक्षा की गई।

कांग्रेस के संचार विभाग की संयोजक प्रियंका चतुर्वेदी और मीडिया को-ऑर्डिनेटर रोहन गुप्ता दिल्ली से प्रश्नपत्र लेकर आए थे। परीक्षा में करीब 65 आवेदक शामिल हुए। लिखित परीक्षा में कई आवेदकों के पसीने छूट गए। सूत्रों के मुताबिक, आरोप है कि परीक्षा में नकल भी हुई और आवेदकों ने कॉपी में खूब कटिंग भी की। हालांकि, कांग्रेस नेता अशोक सिंह ने इसका खंडन किया है। उनका कहना है कि मध्यप्रदेश और राजस्थान में पहले भी इस तरह की प्रक्रिया हो चुकी है। यह पहली बार नहीं है, रुटीन प्रक्रिया है। पार्टी का उद्देश्य है कि किस तरह से पार्टी में अच्छे लोगों को लाया जाए। यह पारदर्शी प्रक्रिया है।

ये सवाल पूछे गए

1. उत्तर प्रदेश में कितने मंडल, जिले और ब्लॉक हैं?

2. उत्तर प्रदेश में लोकसभा की कितनी आरक्षित सीटें हैं?

3. 2004 एवं 2009 में कांग्रेस कितनी सीटों पर जीती थी?

4. लोकसभा चुनाव 2014, 2017 विधानसभा चुनाव में कांग्रेस का वोट प्रतिशत कितना था?

5. यूपी में कितनी लोकसभा और विधानसभा सीटें हैं?

6. यूपी में एक लोकसभा सीट में कितनी विस सीटें आती हैं?

7. किन लोस सीटों पर मानक से कम या ज्यादा विस सीटें हैं?

8. प्रवक्ता का कार्य क्या होता है?

9. आप प्रवक्ता क्यों बनना चाहते हैं?

10. मोदी सरकार की असफलता के प्रमुख बिंदु क्या हैं?

11. योगी सरकार की असफलता के प्रमुख बिंदु क्या हैं?

12. मनमोहन सिंह सरकार की उपलब्धियां क्या थीं?

13. आज समाचार पत्र में तीन प्रमुख खबरें क्या हैं? जिन पर कांग्रेस प्रवक्ता बयान जारी कर सकें।

14. प्रमुख हिंदी/अंग्रेजी और उर्दू अखबारों व चैनलों के नाम।

यूपी में भी प्रोजेक्ट शक्ति लांच

अखिल भारतीय महिला कांग्रेस की महासचिव अनुपमा रावत और प्रभारी उत्तर प्रदेश महिला कांग्रेस की मौजूदगी में उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष राजबब्बर ने महिला कांग्रेस कार्यकर्ताओं के लिए ‘प्रोजेक्ट शक्ति’ लांच किया। कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी द्वारा मोबाइल आधारित ‘प्रोजेक्ट शक्ति’ की लांचिंग की गयी थी, जिसके तहत महिला कांग्रेस के लिए टोल फ्री नम्बर जारी किया गया था जिसका उद्देश्य जमीनी स्तर के कांग्रेस कार्यकर्ताओं के विचार एवं सुझाव जानना है। महिला कांग्रेस द्वारा दिनांक 29 और 30 जून को देश में एक साथ लांच किया जा रहा है।

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